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'यह हमारी पॉलिसी नहीं', चुनाव में दखल देने के कनाडाई आरोप पर भारत सरकार की कड़ी प्रतिक्रिया

कनाडा की शीर्ष विदेशी खुफिया एजेंसी ने अपनी रिपोर्ट में आरोप लगाया है कि भारत ने देश के चुनाव में संभावित रूप से हस्तक्षेप किया है. यह पहली बार है जब भारत पर कनाडा में ऐसी किसी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगा है. कनाडा के इन आरोपों पर विदेश मंत्रालय ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है.

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भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर (फाइल फोटो)
भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर (फाइल फोटो)

कनाडा की ओर से वहां के संघीय चुनावों में भारत पर दखलअंदाजी देने के आरोपों पर भारत सरकार ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है. भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा है कि हम इस तरह के बेतुके आरोपों को सिरे से खारिज करते हैं. सच्चाई यह है कि कनाडा हमारे आंतरिक मामलों में दखल देता रहा है.

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गुरुवार को आयोजित विदेश मंत्रालय के साप्ताहिक प्रेस कॉन्फ्रेंस में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल से जब पूछा गया, " कनाडा की एक एजेंसी वहां के चुनावों में भारत के संभावित हस्तक्षेप को लेकर जांच कर रही है और वहां की सरकार से भारत से जुड़ी जानकारी प्रदान करने के लिए कहा है. कनाडा के कुछ सांसद भी इस मुद्दे को उठा चुके हैं. क्या आप इस पर कुछ कमेंट करना चाहेंगे?"

इसका जवाब देते हुए उन्होंने कहा, "हमने भी कुछ मीडिया रिपोर्टस देखी हैं जिसमें कनाडाई कमिशन की ओर से जांच की बात कही है. हम इस तरह के बेतुके आरोपों को सिरे से खारिज करते हैं कि कनाडाई चुनावों में भारत ने हस्तक्षेप किया है. यह भारत सरकार की पॉलिसी नहीं है कि वह किसी दूसरे देशों की लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं में दखल दे. सच्चाई यह है कि इसके उलट कनाडा हमारे आंतरिक मामलों में दखल देता रहा है. और हम समय-समय पर इस मुद्दे को कनाडाई सरकार के सामने उठाते रहे हैं. हम एक बार फिर कनाडा से यही कहना चाहेंगे कि हमारी चिंताओं पर प्रभावी कदम उठाए. 

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कनाडा ने एक बार फिर भारत पर लगाया है गंभीर आरोप

कनाडाई न्यूज वेबसाइट ग्लोबल न्यूज के मुताबिक, कनाडा की शीर्ष विदेशी खुफिया एजेंसी ने अपनी रिपोर्ट में आरोप लगाया है कि भारत ने देश के चुनाव में संभावित रूप से हस्तक्षेप किया है.

खुफिया एजेंसी ने अपनी रिपोर्ट में भारत को 'विदेशी हस्तक्षेप का खतरा' बताते हुए सरकार से कहा है कि देश की लोकतांत्रिक संस्थाओं और प्रक्रियाओं की रक्षा के लिए और अधिक प्रयास किया जाना चाहिए. रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि अगर इस मामले में हस्तक्षेप नहीं किया गया तो स्थिति और खराब हो जाएगी. 

यह पहली बार है जब भारत पर कनाडा में हुए चुनाव में हस्तक्षेप करने का आरोप लगा है. इससे पहले चीन और रूस पर कनाडा की राजनीति में दखल देने के आरोप लगे थे.

दोनों देशों के बीच रिश्ते पहले से ही तनावपूर्ण

कनाडा ने यह आरोप ऐसे समय में लगाया है जब पहले से ही दोनों देशों के बीच राजनयिक तनाव चरम पर है. पिछले साल सितंबर में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत की भूमिका की बात कही थी. कनाडा की संसद में बोलते हुए उन्होंने कहा था कि कनाडा की सुरक्षा एजेंसियां भारत सरकार और कनाडा के नागरिक हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के बीच की कड़ी के आरोपों की सक्रियता से जांच कर रही है.

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दोनों देशों के बीच राजनयिक तनाव तब उत्पन्न हो गया जब कनाडा ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप निज्जर की हत्या में भारत का हाथ होने का आरोप लगाते हुए भारत के एक सीनियर डिप्लोमैट को निष्कासित कर दिया था. जिसके बाद भारत ने भी कनाडा के एक शीर्ष राजनयिक को पांच दिनों के भीतर देश से निकलने का आदेश जारी कर दिया था.

इसके कुछ दिनों बाद ही भारत ने आंतरिक मामलों में कनाडाई राजनयिकों के हस्तक्षेप और संख्या की अधिकता का हवाला देते हुए कनाडा से अपनी राजनयिकों की संख्या घटाने का आदेश दिया था. जिसके बाद कनाडा ने भारत में मौजूद अपने 41 अतिरिक्त राजनयिकों को वापस बुला लिया था.

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