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पाकिस्तान में सियासी संकट, पुलिस की कार्रवाई में 7 प्रदर्शनकारियों की मौत, लाहौर गए शरीफ

पाकिस्तान में सरकार विरोधी प्रदर्शनकारियों पर कार्रवाई के बाद सियासी संकट गहरा गया है. प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के तत्काल इस्तीफे की मांग पर अड़े प्रदर्शनकारियों की शनिवार रात पुलिस और सुरक्षा बलों से हिंसक झड़प हो गई. पाक मीडिया के मुताबिक, पुलिस की कार्रवाई में सात प्रदर्शनकारियों की मौत की खबर है.

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पाकिस्तान में सरकार विरोधी प्रदर्शनकारियों पर कार्रवाई के बाद सियासी संकट गहरा गया है. प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के तत्काल इस्तीफे की मांग पर अड़े प्रदर्शनकारियों की शनिवार रात पुलिस और सुरक्षा बलों से हिंसक झड़प हो गई. पाक मीडिया के मुताबिक, पुलिस की कार्रवाई में सात प्रदर्शनकारियों की मौत की खबर है. हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि अभी नहीं हुई है. समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, झड़प में 300 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं. इस्लामाबाद में तनाव के बाद पीएम नवाज शरीफ लाहौर चले गए हैं.

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पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने कहा कि सरकार पर हमला करने वालों की सुरक्षा की जिम्मेदारी सरकार की नहीं है. बताया जा रहा है कि रात एक बजे तक करीब 25 हजार प्रदर्शनकारी सड़कों पर थे. हालात बेकाबू होते देख सरकार ने सेना बुला ली है.

पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के प्रमुख इमरान खान ने समर्थकों से आजादी चौक पर आने और प्रदर्शन करने की अपील की. पीटीआई ने बताया है कि इमरान और कादरी ने समर्थकों से नवाज शरीफ के आधिकारिक निवास पर आकर प्रदर्शन करने की अपील की ताकि इस्तीफे का दबाव तेज हो सके. इसी के बाद पुलिस और प्रदर्शनकारियों में झड़प हुई. इमरान खान ने ट्विटर पर आंसू गैस के शेल की तस्वीरें साझा कीं.

 

 

 

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पाकिस्तानी चैनल दुनिया टीवी ने बताया कि कम से कम 308 जख्मी प्रदर्शनकारियों को इलाज के लिए अस्पताल लाया गया. सैकड़ों की संख्या में प्रदर्शनकारी संसद भवन परिसर में घुस आए. लेकिन उन्हें मुख्य गेट पर तैनात सेना के जवानों ने रोक लिया.

सूचना मंत्री परवेज राशिद ने कहा कि प्रदर्शनकारियों ने संसद पर हमला करके 'लोकतंत्र के प्रतीक' पर हमला किया है और यह अपराध है. सुबह तक झड़प जारी थी. पुलिस आंसू गैस और रबड़ की गोलियों से प्रदर्शनकारियों को रोकने की कोशिश कर रही है. लेकिन प्रदर्शनकारी अपनी जगह छोड़ने को किसी भी कीमत पर तैयार नहीं है, जिससे इस्लामाबाद में माहौल तनावपूर्ण हो गया है.

इस बीच प्रदर्शनकारी लाहौर और कराची में भी फैल गए हैं. सरकार ने हालात पर काबू पाने के लिए सेना को बुलाया है. करीब 100 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया है. प्रदर्शनकारी लगातार ‘आजादी’ और ‘नवाज जाओ’ के नारे लगा रहे हैं. इस बीच जियो टीवी के ऑफिस पर प्रदर्शनकारियों ने हमला बोल दिया यही नहीं कुछ लोगों ने लाहौर में भी कई दुकानों में लूटपाट की.

इस्लामाबाद के वीआईपी इलाके में देर रात उस समय दहशत की स्थिति पैदा हो गई, जब लाठियां लेकर हजारों प्रदर्शनकारी सुरक्षा घेरा तोड़कर प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के आवास की ओर कूच करने लगे. इसके साथ प्रदर्शनकारियों और सरकार के बीच 17 दिन से जारी गतिरोध ने नया मोड़ ले लिया.

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पुलिस ने इमरान खान और ताहिर-उल-कादरी की अगुवाई में प्रदर्शन कर रहे लोगों पर गोली चलाई, लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़े. आधी रात के आसपास इस्लामाबाद में हालात बिगड़ने लगे जहां बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारी प्रदर्शन स्थल से हटने को तैयार नहीं थे. तनाव बढ़ने के साथ ही शरीफ लाहौर रवाना हो गए. देर रात सरकार की तरफ से किए गए ऐलान में शरीफ के इस्तीफे की बात साफ तौर पर खारिज कर दी गई.

प्रदर्शनकारियों के मार्च शुरू करने से पहले गृह मंत्रालय ने घोषणा कर दी थी कि उन्हें रोकने के लिए जवानों को तैनात किया जाएगा. इमरान और कादरी दोनों शरीफ के इस्तीफे की मांग को लेकर 14 अगस्त से प्रदर्शन कर रहे हैं. इमरान पिछले साल के आम चुनाव में धांधली होने का आरोप लगा रहे हैं.

इमरान ने कहा, ‘मैं प्रधानमंत्री आवास तक मार्च की अगुवाई करंगा. मेरे सारे समर्थक मेरे साथ होंगे.’ उन्होंने महिलाओं और बच्चों से कहा कि जब तक वह नहीं कहें वे लोग रुके रहें और उनके साथ नहीं आएं.

इससे कुछ देर पहले ही कादरी ने भी इसी तरह का फैसला किया था. इमरान ने अपने समर्थकों से शांति बनाए रखने को कहा और कानून प्रवर्तन एजेंसियों से प्रदर्शनकारियों को नहीं रोकने का आग्रह किया.

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