ईरान में पूर्व जनरल कासिम सुलेमानी की कब्र के पास 3 जनवरी को सिलसिलेवार तरीके से दो ब्लास्ट हुए थे. इसमें 103 लोगों की मौत हो गई थी. इस हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट ने ली है. बता दें कि ईरान के करमान में कमांडर कासिम सुलेमानी की स्मृति में एक समारोह आयोजित किया गया था. इसी दौरान एक के बाद एक दो बम विस्फोट हुए. कासिम सुलेमानी 2020 में अमेरिकी ड्रोन अटैक में मारे गए थे.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के अनुसार इस्लामिक स्टेट ने अपने टेलीग्राम चैनलों पर हमले की जिम्मेदारी लेते हुए एक बयान पोस्ट किया है. बम धमाकों में कम से कम 170 लोग घायल भी हुए हैं.
ईरान में यह धमाके करमान शहर में साहेब अल-जमान मस्जिद के पास हुए हैं, जहां सुलेमानी की कब्र है और उनकी मौत की चौथी बरसी पर भारी संख्या में लोग जुटे थे. ईरान के करमान शहर में ईरानी सेना के पूर्व जनरल सुलेमानी की कब्र के पास पहला धमाका हुआ था. उसके बाद दूसरा धमाका हुआ. ईरान की समाचार एजेंसी के मुताबिक बमों से भरे दो बैगों में विस्फोट हुआ था. रिमोट कंट्रोल के जरिए ब्लास्ट किए गए थे.
इन विस्फोटों के बाद मौके पर भगदड़ मच गई थी. बताया जा रहा है कि भगदड़ मचने की वजह से कई लोग घायल हो गए. घायलों को इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया था. कई रिपोर्ट्स में ये कहा गया था कि कब्रिस्तान की ओर जाने वाली सड़क पर कई गैस कंटेनरों में विस्फोट हुआ था. लेकिन स्थानीय अधिकारी ने इसकी पुष्टि नहीं की है.
पूर्व जनरल सुलेमानी की 3 जनवरी 2020 को बगदाद हवाईअड्डे पर अमेरिकी ड्रोन हमले में मौत हो गई थी. ईरान में सुलेमानी एक कद्दावर शख्सियत थे. उन्हें ईरान के सुप्रीम नेता अयातुल्ला अली खामेनेई के बाद देश का दूसरा सबसे ताकतवर शख्स माना जाता था. वह ईरान की रिवोल्यूशनरी गार्ड्स की फॉरेन ऑपरेशन ब्रांच कुद्स फोर्स के कमांडर थे. वह ईरान के खुफिया मिशनों से जुड़े हुए थे.