प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार सुबह पड़ोसी मुल्क नेपाल पहुंचे, चार साल में पीएम मोदी का नेपाल का ये चौथा दौरा है. प्रधानमंत्री यहां बे ऑफ बंगाल इनिशिएटिव फॉर सेक्टोरल टेक्नीकल एंड इकॉनोमिक को-ऑपरेशन (BIMSTEC Summit) के चौथे सम्मेलन में शामिल होंगे.
Towards a peaceful, prosperous and sustainable Bay of Bengal region! PM @narendramodi and other BIMSTEC leaders jointly calling on President Bidhya Devi Bhandari of Nepal. pic.twitter.com/2oLqq7XYBE
— Raveesh Kumar (@MEAIndia) August 30, 2018
उन्होंने यहां पर नेपाल की राष्ट्रपति बिद्या देवी भंडारी से मुलाकात की. इस दौरान बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना एवं अन्य देशों के नेताओं से भी मुलाकात की. इसके बाद उन्होंने श्रीलंका के राष्ट्रपति सिरीसेना से भी मुलाकात की.
इसके बाद सम्मेलन का पूर्ण उद्घाटन सत्र का आयोजन होगा, सम्मेलन का समापन 31 अगस्त होगा. सम्मेलन के बाद संयुक्त घोषणा पत्र भी जारी किया जाएगा. बैंकॉक के घोषणा पत्र के माध्यम से छह जून 1997 को बिम्सटेक अस्तित्व में आया.Cementing cooperation with a valued neighbour and close friend.
President @MaithripalaS and PM @narendramodi meet on the sidelines of the BIMSTEC Summit in Kathmandu. pic.twitter.com/pkrsfjcBCJ
— PMO India (@PMOIndia) August 30, 2018
ये सात देश समिट में शामिल
इसमें बंगाल की खाड़ी क्षेत्र में बसे सात देश-बांग्लादेश, भूटान, भारत, म्यांमार, नेपाल, श्रीलंका और थाइलैंड शामिल हैं. समूह में शामिल सात देशों की आबादी 1.5 अरब है जो कि दुनिया की आबादी का 21 फीसदी है और इस समूह का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) 2500 अरब डॉलर है.
बिम्सटेक का मुख्य उद्देश्य बंगाल की खाड़ी क्षेत्र में स्थित दक्षिण एशियाई और दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के बीच तकनीकी और आर्थिक सहयोग स्थापित करना है.
दरअसल, एक्ट ईस्ट पॉलिसी और नेबरहुड फर्स्ट पॉलिसी को लेकर बिम्सटेक भारत के लिए महत्वपूर्ण है. गोवा में बिस्मटेक सम्मेलन का आयोजन होने के दो साल बाद काठमांडु में आयोजित होने वाले सम्मेलन में समूह के सदस्य देशों के नेता मिलेंगे.