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आज कजाखस्तान जाएंगे PM मोदी, दोनों देशों के बीच हो सकती है यूरेनियम डील

अपने मध्य एशिया के दौरे के दूसरे दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार को उज्बेकिस्तान से कजाखस्तान पहुंच जाएंगे. इस दौरान दोनों देश 5000 टन यूरेनियम की खरीदारी के लिए भारत और कजाखस्तान एक करार पर दस्तखत कर सकते हैं.

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सोमवार को उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपति इस्लाम करीमोव से मिले प्रधानमंत्री मोदी
सोमवार को उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपति इस्लाम करीमोव से मिले प्रधानमंत्री मोदी

अपने मध्य एशिया के दौरे के दूसरे दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार को उज्बेकिस्तान से कजाखस्तान पहुंच जाएंगे. इस दौरान दोनों देश 5000 टन यूरेनियम की खरीदारी के लिए भारत और कजाखस्तान एक करार पर दस्तखत कर सकते हैं.

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रिन्यू होगी पुरानी डील
सूत्रों ने बताया कि दोनों देश अपनी पुरानी डील को रिन्यू करेंगे, जिसके तहत कजाखस्तान भारत को यूरेनियम की आपूर्ति कर रहा था. जनवरी 2009 से भारत और कजाखस्तान के बीच असैनिक परमाणु संधि है. तब भारतीय परमाणु संयंत्रों के लिए यूरेनियम की आपूर्ति के लिए एनपीसीआईएल और कजाख परमाणु कंपनी कजएटमप्रोम ने एक करार पर दस्तखत किए थे.

चार साल से हो रही है यूरेनियम की आपूर्ति
इस करार के बाद, KazAtomProm ने 2010-11 में 600 टन, 2011-12 में 350 टन, 2012-13 में 402.5 टन और 2013-14 में 460 टन यूरेनियम अयस्क सांद्र की आपूर्ति की थी. यूरेनियम आपूर्ति का यह करार दिसंबर 2014 में समाप्त हो गया. एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने बताया, भारत कजाखस्तान के साथ अपने करार को रिन्यू करेगा.

 

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भारत को यूरेनियम देने वाला पहला देश
कजाखस्तान भारत को यूरेनियम की आपूर्ति करने वाला प्रमुख देश है. इसके पास दुनिया के यूरेनियम संसाधन का 15 फीसद है और 2009 में अग्रणी यूरेनियम उत्पादकर्ता देश बन गया. कजाखस्तान के अलावा, यूरेनियम की खरीदारी के लिए उज्बेकिस्तान के साथ भी भारत ने करार कर रखा है. पिछले साल आस्ट्रेलिया और इस साल कनाडा की अपनी यात्रा के दौरान मोदी ने भारतीय परमाणु उर्जा संयंत्रों के लिए यूरेनियम खरीदने पर जोर दिया था. ईंधन की किल्लत के चलते ये संयंत्र कई साल से अपनी क्षमता से कम पर चल रहे हैं

-इनपुट भाषा से

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