कनाडा में गुरुवार तड़के खालिस्तान समर्थकों ने महात्मा गांधी की प्रतिमा को नुकसान पहुंचाया. गांधी की प्रतिमा पर स्प्रे पेंट छिड़का गया और खालिस्तान समर्थक भित्तिचित्रों में अपमानजनक नारे लिखे गए. भित्तिचित्रों में प्रधानमंत्री मोदी के विरोध में भी बातें लिखी गई हैं. खालिस्तान समर्थकों ने ओंटारियो राज्य के हैमिल्टन शहर में सिटी हॉल के पास इसे अंजाम दिया, जहां साल 2012 से ही गांधी की प्रतिमा लगी है.
हिंदूस्तान टाइम्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक, यह तोड़फोड़ गांधी की छह फुट ऊंची कांस्य की प्रतिमा के साथ की गई. इस प्रतिमा को भारत सरकार ने कनाडा को उपहार स्वरूप दिया था. वीडियो में देखा जा सकता है कि मूर्ति को चारों तरफ से पेंट से रंग दिया गया और उस चारों तरफ भित्तिचित्र बना दिए गए हैं. इनमें महात्मा गांधी और पीएम मोदी के विरोध में नारे लिखे गए हैं. खालिस्तान समर्थकों ने गांधी की लाठी के पास खालिस्तान का झंडा भी लगा दिया.
हालांकि, जैसे ही अधिकारियों को इस घटना की खबर लगी, उन्होंने तुरंत गांधी की प्रतिमा से भित्तिचित्रों और पेंट को साफ किया. हैमिल्टन पुलिस का कहना है कि गुरुवार दोपहर उन्हें इस संबंध में एक शिकायत मिली है और वो इसकी जांच कर रहे हैं.
अमृतपाल पर कार्रवाई से जुड़ा है मामला?
पंजाब के खालिस्तान समर्थक संगठन 'वारिस पंजाब दे' के मुखिया अमृतपाल सिंह और उनके साथियों के खिलाफ पुलिस ने कड़ी कार्रवाई शुरू की है. पिछले कई दिनों से पंजाब पुलिस फरार अमृतपाल की तलाश कर रही है लेकिन वो हाथ नहीं आ रहा. हालांकि, उसके सैकड़ों साथियों को गिरफ्तार किया गया है.
अमृतपाल सिंह के खिलाफ हो रही इस कार्रवाई को लेकर अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा जैसे देशों से तीव्र प्रतिक्रिया आ रही है. माना जा रहा है कि कनाडा की हालिया घटना भी इसी की एक कड़ी है.
कनाडा के सांसदों ने दी ये प्रतिक्रिया
अमृतपाल पर कार्रवाई को लेकर कनाडा के कई सांसदों ने भी प्रतिक्रिया दी है. कनाडा में न्यू डेमोक्रेटिक पार्टी के नेता जगमीत सिंह ने एक ट्वीट में आरोप लगाया कि भारत की सरकार अपने नागरिकों के अधिकारों का हनन कर रही है.
जगमीत सिंह ने लिखा, 'नागरिकों के अधिकारों का हनन हो रहा है और पंजाब में इंटरनेट बंद कर दिया गया है. मैं नागरिक अधिकरों के हनन और बाहर रह रहे कनाडा के लोगों की सुरक्षा को लेकर जस्टिन ट्रूडो की लिबरल सरकार से बात कर रहा हूं कि वे भारतीय समकक्षों से बात करें और उनसे इस चिंता को साझा करें.'
हालांकि, इस ट्वीट के बाद जगमीत सिंह का ट्विटर अकाउंट सस्पेंड कर दिया गया है.
वहीं, कनाडा के कंजरवेटिव पार्टी के सांसद टिम एस उप्पल ने कहा कि पंजाब से आ रही इन खबरों पर वो चिंतित हैं. उन्होंने लिखा, 'भारत के पंजाब से आ रही खबरों को लेकर चिंतित हूं. वहां की सरकार ने इंटरनेट को बंद कर दिया है और कुछ जगहों पर चार से ज्यादा लोगों के एक साथ जमा होने पर रोक लगा दी गई है. हम पंजाब के हालात पर नजर बनाए हैं.'
अमृतपाल की गिरफ्तारी के खिलाफ ब्रिटेन में सबसे अधिक हंगामा देखने को मिला है. खालिस्तान समर्थकों ने लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग में भारतीय झंडे का अपमान किया और भारत विरोधी नारे लगाए. भारत ने इसे लेकर ब्रिटिश उच्चायोग के सबसे वरिष्ठ राजनयिक को तलब कर अपनी नाराजगी जाहिर की है.