खाड़ी क्षेत्र में जारी कतर संकट के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मास्टर स्ट्रोक खेला है. अमेरिका ने कतर को F-16 फाइटर जेट बेचने का करार किया है. इस 12 अरब डॉलर के सौदे के साथ अमेरिका ने यह भी संकेत दे दिया कि वह कतर राजनयिक संकट की नजदीक से निगरानी कर रहा है. इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कतर पर आतंकवाद को समर्थन देने का आरोप लगाया था, लेकिन इस फैसले ने सऊदी अरब समेत खाड़ी देशों को हैरान कर दिया है. इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सऊदी अरब के साथ 110 अरब डॉलर के हथियार करार पर हस्ताक्षर किए थे.
पांच जून को सऊदी अरब, बहरीन, मिस्र और संयुक्त अरब अमीरात समेत सात देशों ने कतर के साथ राजनयिक रिश्ते खत्म कर लिए थे, जिसके बाद से खाड़ी क्षेत्र में संकट गहरा गया है. इन देशों ने कतर के साथ राजनयिक रिश्तों के साथ जमीन, समुद्र और हवाई संपर्क भी खत्म कर दिए. आतंकी और चरमपंथी संगठनों को समर्थन का आरोप लगाते हुए कतर के खिलाफ यह कार्रवाई की. दरअसल, खाड़ी क्षेत्र में अमेरिका सबसे बड़ा सैन्य ठिकाना कतर में है, जिसको डोनाल्ड ट्रंप बनाए रखना चाहते हैं.
कतर न्यूज एजेंसी के मुताबिक बुधवार को वाशिंगटन में कतर के रक्षामंत्री खालिद अल अत्तिया और उनके अमेरिकी समकक्ष जिम मैटिस के बीच यह सौदा हुआ. इसके बाद कतर के रक्षामंत्री ने कहा कि यह समझौते दर्शाता है कि हिंसक कट्टरपंथ से निपटने और क्षेत्र में शांति एवं स्थिरता को बढ़ावा देने के लिए कतर अपने दोस्त और सहयोगी अमेरिका के साथ सामरिक सहयोग बढ़ा रहा है. उन्होंने इसे अमेरिका के साथ रक्षा सहयोग का विस्तार करार दिया. उन्होंने कहा कि कतर अपने दोस्त अमेरिका के साथ साझा सैन्य सहयोग जारी रखेगा.