निर्वासित बांग्लादेशी लेखिका तस्लीमा नसरीन के स्तन में गांठ होने के बारे में पता चला है. तस्लीमा खांसी-जुकाम के इलाज के लिए न्यूयॉर्क के एक अस्पताल में गई थीं.
डॉक्टरों के अनुसार, उनके स्तन में गांठ काफी बड़ी है और उसके खतरे का पता लगाने के लिए तुरंत उनकी 'बायप्सी' की गई है.
‘बीडीन्यूज24 डॉट कॉम’ की खबर के अनुसार, बायप्सी की रिपोर्ट कल आने की संभावना है.
इस सूचना से 51 साल की तस्लीमा बहुत परेशान हैं क्योंकि उनकी मां की मौत कैंसर के कारण हुई है और उनके एक भाई का न्यूयार्क के अस्पताल में कैंसर का इलाज चल रहा है.
तस्लीमा ने अपनी चिंताओं के बारे में ट्वीट करके बताया है कि बायप्सी के तुरंत बाद उन्होंने न्यूयॉर्क के एक रेस्तरां में हैदराबादी बिरयानी खाई.
उन्होंने ट्वीट किया, ‘प्यारे भारत, यदि कल मुझे स्तन कैंसर होने का पता चलता है और यदि मैं मर जाउं तो मेरी बिल्ली मीनू का ख्याल रखिएगा. वह दुनिया की सबसे अच्छी बिल्ली है.’
तस्लीमा भारत की भीषण गर्मी से बचने और न्यूयॉर्क के मौसम का लुत्फ लेने के लिए एक सप्ताह पहले ही वहां गई थीं.
पेशे से डॉक्टर तस्लीमा का उपन्यास ‘लज्जा’ बाजार में आने के बाद उन्हें कट्टरपंथियों के गुस्से का शिकार होना पड़ा. इसके बाद 1998 में उन्होंने बांग्लादेश छोड़ दिया. तब से वह भारत और अन्य पश्चिमी देशों में रह रही हैं.