बलूचिस्तान में पाकिस्तान का कानून नहीं, बल्कि सेना का शासन चलता है. 70 साल से जारी अत्याचार के खिलाफ बलूच लिबरेशन आर्मी (बीएलए) ने हथियार उठाए हैं. बीएलए की बढ़ती ताकत के पीछे पाकिस्तानी सेना के पूर्व अधिकारी रहमान गुल बलूच का हाथ है.