
गूगल के साथ पेटीएम का विवाद अभी सुलझता नहीं दिख रहा. अब पेटीएम के फाउंडर विजय शेखर शर्मा ने एक नया समूह बनाने का आह्वान किया है जिसमें भारतीय टेक कंपनियों को उचित जगह दी जाए.
विजय शेखर शर्मा ने कहा कि नैस्कॉम और IAMAI जैसी इंडस्ट्री की संस्थाओं में अमेरिकी कंपनियों का वर्चस्व है. इसलिए ऐसा कोई प्लेटफॉर्म बनाकर सभी स्थानीय टेक फर्म को उचित प्रतिनिधित्व दिया जा सकता है.
पेटीएम ने बहुराष्ट्रीय सर्च इंजन गूगल पर अवैध और मनमाना व्यवहार करने का आरोप लगाया है. पेटीएम ने कहा कि खुद 'गूगल पे' के द्वारा क्रिकेट आधारित सट्टेबाजी की सेवा की पेशकश की जा रही है.
क्या है मसला
असल में गूगल ने आईपीएल क्रिकेट टूर्नामेंट से पहले 18 सितंबर के नीतिगत अपडेट के बाद पेटीएम के ऐप को अपने ऐप स्टोर ‘प्ले स्टोर’ से कुछ समय के लिये हटा दिया था. पेटीएम का ऐप वापस प्ले स्टोर पर तब आ पाया था, जब उसने क्रिकेट से संबंधित एक फीचर से कैशबैक की सुविधा को वापस ले लिया था.
क्या कहा शर्मा ने
इकोनॉमिक टाइम्स के मुताबिक विजय शेखर शर्मा ने कहा, 'नैस्कॉम और IAMAI जैसी इंडस्ट्री की संस्थाओं में अमेरिकी कंपनियों का वर्चस्व है. इसलिए ऐसा कोई प्लेटफॉर्म बनाकर सभी स्थानीय टेक फर्म को उचित प्रतिनिधित्व दी जा सकती है.' उन्होंने कहा कि इस मसले पर भारतीय कंपनियों के संस्थापक बातचीत कर रहे हैं. हम सरकार और सांसदों से भी बात कर रहे हैं.
पेटीएम दावा किया कि भारत में वैध होने के बाद भी गूगल ने उसे कैशबैक की पेशकश हटाने के लिये बाध्य किया. पेटीएम ने यह भी आरोप लगाया कि गूगल की भुगतान सेवा ‘गूगल पे’ क्रिकेट पर आधारित इसी तरह की पेशकश खुद ही कर रही है. कंपनी ने कहा, ‘भारत में दोनों (कैशबैक व स्क्रैच कार्ड) ही पेशकश वैध है और सरकार के सभी नियमों व कानूनों का पालन करते हुए कैशबैक की सुविधा दी जा रही है.'
क्या कहा गूगल ने
न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, गूगल ने पेटीएम के आरोपों पर ऊपर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि महज कैशबैक और वाउचर गूगल प्ले की सट्टेबाजी संबंधी नीतियों का उल्लंघन नहीं है. उसने कहा कि यदि नीतियों का आगे भी उल्लंघन किया जाता है तो गूगल प्ले डेवलपर खाते को निलंबित किया जा सकता है.