
बोनस नंबर की वजह से आईआईटी में दाखिले पर लगी रोक को सुप्रीम कोर्ट ने हटा लिया है. इस बार परीक्षा आईआईटी मद्रास ने आयोजित कराई थी. लेकिन इस परीक्षा में दो सवाल गलत थे, जिसके कारण सभी परीक्षार्थियों को कुल 18 बोनस मार्क्स दिए गए.
12वीं में 99.6% लाने के बावजूद नहीं मिला मनचाहा कॉलेज, जानिये वजह
7 जुलाई को मामला सुप्रीम कोर्ट में जाने के बाद IITs और NITs के एडमिशन प्रक्रिया को रोक दिया गया था.
दरअसल, एक छात्रा ने सुप्रीम कोर्ट में अर्जी देकर कहा था कि बोनस अंक उन्हें ही दिए जाएं, जिन्होंने सवाल हल करने की कोशिश की. लेकिन सवाल हल करने की कोशिश नहीं करने वालों को भी नंबर दे दिए गए. इसकी वजह से मेरिट लिस्ट गड़बड़ हो गई. अर्जी में मांग की गई थी कि इस गलती को सुधार कर दोबारा मेरिट लिस्ट बनाई जाए. अगर ऐसा नहीं हो सकता है तो दोबारा से परीक्षा करवाई जाए.
IIT Kanpur ने 60 छात्रों को निकाला, वजह जानकर होगी हैरानी
सभी पक्षों को सुनने, देखने और समझने के बाद सुप्रीम कोर्ट अर्जी खारिज करते हुए एडमिशन को हरी झंडी दे दी है. कोर्ट का फैसला आने के बाद अब एडमिशन का रास्ता साफ हो गया है.
बता दें कि JEE यानी ज्वॉइंट इंटरेंस एग्जाम से आईआईटी में दाखिला मिलता है. इस बार ये परीक्षा आईआईटी मद्रास ने आयोजित कराई थी. लेकिन इस परीक्षा में दो सवाल गलत थे, जिसके कारण सभी परीक्षार्थियों को कुल 18 बोनस मार्क्स दिए गए.
DU रजिस्ट्रेशन के लिए तैयार रखें ये Documents
ग्रेस मार्क्स देने के पीछे आईआईटी-JEE की ओर से दलील दी गई थी कि परीक्षा में निगेटिव मार्किंग की व्यवस्था है. इसलिए मुमकिन है कि कई छात्रों ने जवाब गलत होने के डर से अस्पष्ट छोड़ दिया हो. किसने किस वजह से सवाल छोड़ा होगा, ये पता लगाना मुश्किल है. इसलिए सभी को बोनस अंक दिए गए हैं.