
बेशक आर. माधवन की बॉक्सिंग पर बनी फिल्म 'साला खडूस' बॉक्स ऑफिस पर नहीं चल सकी लेकिन बॉक्सिंग अब उनके जीवन में अहम जगह बना चुकी है.
इन दिनों आर माधवन परिवार के साथ मलेशिया में छुट्टियां मना रहे हैं और वह एक भरोसेमंद और लोकप्रिय बॉक्सिंग सेंटर की तलाश में थाईलैंड का चक्कर भी काट चुके हैं. वजहः 'साला खड़ूस' के दौरान उन्होंने बॉक्सिंग से जुड़ी कुछ चीजें सीखीं और वह उनके दिल में उतर गईं. अब वह चाहते हैं कि उनका बेटा प्रोफेशनल तरीके से बॉक्सिंग सीखे.
माधवन एनसीसी कैडेट रह चुके हैं और वह मिलेट्री ट्रेनिंग भी हासिल कर चुके है. इसीलिए वह चाहते हैं कि उनके बेटे को भी खेलों में उचित प्रशिक्षण मिले, माधवन हमेशा से ही दृढ़ता और अनुसाशन में विश्वास रखते हैं, और अब उनका बेटा बड़ी बॉक्सिंग ट्रेनिंग के लिए दो महीने अकेले सफर करेगा. माधवन बताते हैं, 'मैं बहुत खुश हूं कि मेरे बेटे ने खुद बॉक्सिंग सीखने की इच्छा जताई. बॉक्सिंग कोई आसान खेल नहीं है. मुझे बहुत खुशी होगी जब मैं उसे बॉक्सिंग ट्रंक और ग्लव्स में देखूंगा.'