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उत्तर प्रदेश के पूर्व डीजी प्रकाश सिंह ने हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के बयान पर पलटवार किया है. इस साल जाट आंदोलन के दौरान हुई हिंसा की जांच की रिपोर्ट सौंपने के बाद प्रकाश सिंह ने कहा है कि उन्हें किसी की नौकरी की जरूरत नहीं है, मैं जनहित में काम करता हूं.
मनोहर लाल खट्टर ने विधानसभा में यह बयान दिया था कि प्रकाश सिंह ने खुद ही हरियाणा में पुलिस सुधारों को लागू करने को लेकर रिपोर्ट सौंपी. जिससे हम उन्हें फिर से नौकरी दें.
क्या कहा प्रकाश सिंह ने?
प्रकाश सिंह ने 'आज तक' से कहा कि 'मुझे हरियाणा के मुख्यमंत्री की बात सुनकर शॉक लगा. हरियाणा सरकार ने मुझे मदद के लिए आमंत्रित किया था. पुलिस व्यवस्था में सुधार को लेकर 25 फरवरी को यानि 6 महीने पहले उन्होंने यह लिखित ऑर्डर में कहा था.' इसके बाद प्रकाश सिंह ने कहा कि सीएम ने नौकरी की बात सोची कैसे? मैं पैसे के लिए काम नहीं करता. उन्होंने कहा कि उनकी पहली रिपोर्ट ब्यूरोक्रेसी के लोगों को ठीक नहीं लगी. इसलिए वे नहीं चाहते की हम दोबारा आएं.
क्यों बढ़ा विवाद?
सीएम मनोहर लाल खट्टर ने विधानसभा में कहा कि प्रकाश सिंह से जाट आंदोलन के दौरान हुई हिंसा को लेकर रिपोर्ट देने को कहा गया था. लेकिन प्रकाश सिंह अपनी इच्छा से पुलिस सुधारों को लेकर रिपोर्ट सौंपना चाहते हैं. लेकिन सरकार को उस रिपोर्ट की जरूरत नहीं है. इसलिए उन्हें नौकरी नहीं दी गई.
बता दें कि हरियाणा में हुए जाट आरक्षण आंदोलने के दौरान लगभग 30 लोग मारे गए थे. कई घायल हुए थे. साथ ही करोड़ों का नुकसान हुआ था.