
कश्मीर मुद्दे पर शनिवार को ऑल पार्टी डेलीगेशन के कश्मीर दौरे से पहले सर्वदलीय बैठक हुई. गृह मंत्री राजनाथ सिंह की अगुवाई में हुई इस बैठक में सभी पार्टी के नेताओं ने हिस्सा लिया.
कुछ ढाई घंटे चली बैठक में 20 पार्टियों से 28 सदस्य शामिल हुए. इनमें गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे और अंबिका सोनी कांग्रेस पार्टी से, जेडीयू से शरद यादव, सीपीएम से सीताराम येचुरी, सीपीआई से डी राजा, एमआईएम नेता असदुद्दीन ओवैसी, एनसीपी से तारिक अनवर और तृणमूल कांग्रेस से सौगत राय शामिल हुए.
बैठक के बाद गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि कश्मीर पर सबसे बात की जाएगी. उन्होंने कहा कि कश्मीर के मुद्दे पर सभी दलों ने अपनी-अपनी राय दी है और वहां से डेलीगेशन के लौटने के बाद फिर सभी दलों की बैठक होगी .
सरकार की कोशिश है कि किसी न किसी तरह से यह प्रतिनिधिमंडल का श्रीनगर दौरा सफल रहे. बैठक में नेताओं ने हुर्रियत को बातचीत के सिलसिले में शामिल करने पर चर्चा की. दलों का ये मानना है कि सभी पक्षों को अपनी बात रखने का मौका मिलना चाहिए. अलगाववादी संगठनों ने इस प्रतिनिधिमंडल का बायकॉट करने का ऐलान किया है.
कांग्रेस नेता और जाम्मू कश्मीर के पूर्व सीएम गुलाम नबी आजाद ने बैठक ख़त्म होने के बाद कहा कि कश्मीर की अवाम का हित ध्यान मे रख कर सरकार को आगे बढ़ना पड़ेगा. जदयू के नेता शरद यादव ने कहा कि हमारी कोशिश होगी कि हम आमसहमति बना सकें. वहीं एनसीपी के नेता तारिक अनवर का कहना है कि इस दौरे से हमें बहुत ज्यादा उम्मीद नहीं है क्योंकि वहां माहौल बद से बदतर हो चुके हैं. मगर 2010 में भी बातचीत चली थी जिसका फायदा हमको मिल सकता है.
कोई ना कोई रास्ता निकलेगा: ओवैसी
एमआईएम के नेता असदुदद्दीन ओवैसी ने मीटिंग में अटल सरकार का हवाला दिया. ओवैसी ने कहा कि हमें उम्मीद है कि कोई ना कोई रास्ता निकलेगा इंशाल्लाह. हम मुफ़्ती सरकर से कहेंगे कि वो हुर्रियत को भी बुलाएं. वाजपेयी सरकार के दौरान भी बातचीत का प्रोसेस शुरू हुआ था और तब आडवाणीजी ने अलगाववादी नेताओं से बात की थी. आप हमें क्यों कह रहे हैं. हमें दोष मत दीजिये. ये तो बीजेपी और पीडीपी के कॉमन मिनिमम प्रोग्राम में है.
सर्वदलीय बैठक में हिस्सा लेने से पहले कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने अपने आवास पर पार्टी की बैठक बुलाई थी. इस मीटिंग में गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे और अंबिका सोनी पहुंचे.
राजनाथ सिंह के नेतृत्व में जाएगा डेलीगेशन
कश्मीर घाटी में लगभग 2 महीने से चल रहे तनाव का जायजा लेने ऑल पार्टी डेलीगेशन 4 सिंतबर को श्रीनगर जाएगा. इस डेलिगेशन का नेतृत्व खुद राजनाथ सिंह करेंगे. यह डेलीगेशन 4 और 5 सितंबर को कश्मीर में रहेगा.
गौरतलब है कि गृहमंत्री राजनाथ सिंह तीसरी बार श्रीनगर जा रहे हैं. घाटी में हुई हिंसा में अबतक लगभग 70 मौतें हुई हैं. तकरीबन 2 महीने से कर्फ्यू की स्थिति है. जनजीवन अस्त-व्यस्त है और आम लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है.