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सुषमा की संसदीय सीट में रेल कारखाने को प्रभु का आशीर्वाद, टेंडर ओपन

मध्य प्रदेश में विदिशा की सांसद और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के पिछले लोकसभा कार्यकाल में हुई घोषणा को चार साल बाद अब प्रभू का आशीर्वाद मिला है.

सुरेश प्रभू, सुषमा स्वराज सुरेश प्रभू, सुषमा स्वराज
सबा नाज़/सिद्धार्थ तिवारी
  • अहमदनगर,
  • 22 सितंबर 2016,
  • अपडेटेड 10:16 AM IST

मध्य प्रदेश में विदिशा की सांसद और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के पिछले लोकसभा कार्यकाल में हुई घोषणा को चार साल बाद अब प्रभू का आशीर्वाद मिला है. विदिशा में डीजल इंजन का रेल कारखाना स्थापित करने के सपने को रेलमंत्री सुरेश प्रभू ने अमली जामा पहनाने का काम शुरू कर दिया है. विदिशा में रेल कारखाना लगाने के लिए आरएफक्यू (रिक्वेस्ट फॉर क्वालिफिकेशन) टेंडर ओपन कर दिया गया. इस टेंडर की आखिरी तारीख 4 नवंबर है और इसी दिन टेंडर बिड ओपन करके इसको पाने वाली कंपनी की घोषणा कर दी जाएगी.

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विदिशा में डीजल इंजन कारखाना, ज्वाइंट वेंचर कंपनी लगाएगी. इस कारखाने में हाई स्पीड डीजल इंजन के ट्रैक्शन अल्टरनेट और एसी ट्रैक्शन मोटर की ओवरहॉलिंग का काम किया जाएगा. ज्वाइंट वेंचर कंपनी में सरकार की हिस्सेदारी कम से कम 26 फीसदी रहेगी. सात वर्ष की अवधि के लिए उच्च अश्वशक्ति वाले डीजल इंजन के 700 ट्रैक्शन अल्टरनेटर की सप्लाई और 4200 एसी ट्रैक्शन मोटर की ओवरहॉलिंग करने के लिए करार के अनुसार विदिशा में फैक्ट्री स्थापित करने वाली कंपनी का चयन खुली प्रतियोगी बोली (ओपन बिडिंग) के माध्यम से होगा.

कारखाने में बनेंगे रेलवे के हाईस्पीड डीजल इंजन
गौरतलब है कि 14 मार्च 2012 को तत्कालीन रेल मंत्री दिनेश त्रिवेदी ने सुषमा स्वराज के संसदीय क्षेत्र विदिशा में रेल कारखाना लगाने की घोषणा की थी. इस घोषणा के बाद सात जून 2012 को सुषमा स्वराज ने विदिशा में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करके घोषणा की थी. अगले 15 माह के अंदर रेलवे के हाईस्पीड डीजल इंजन के लिए ट्रैक्शन अल्टरनेट बनाने वाला कारखाना शुरू हो जाएगा. इससे शुरुआती लेवल पर दो सौ लोगों को सीधे रोजगार मिलने की संभावना थी. लेकिन जैसा पिछली सभी सरकारों में रेलवे घोषणाओं के साथ होता आया था वैसी ही दुर्गति विदिशा में रेल कारखाने की घोषणा की भी हुई. फिर सांची में जगह ढूंढ़ने के प्रयास हुए, लेकिन विदिशा जिले का नाम घोषित होने की वजह से दूसरे जिले में इसको नहीं लगाया जा सकता था. इस वजह से ये कोशिश भी नाकाम रही. इस तरह से ये मसला ठंडे बस्ते में जा पहुंचा.

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22 एकड़ की जमीन पर शुरू होगा कारखाना
लेकिन मोदी सरकार के सत्ता में आते ही सुषमा स्वराज के संसदीय क्षेत्र विदिशा की भी उम्मीदें एक बार फिर से हरी हो गईं. 2015 में इस प्रोजेक्ट को रेल मंत्रालय ने अपने राडार पर ले लिया. तमाम तकनीकी चीजें तय की गईं. सूत्रों के मुताबिक विदिशा प्रोजेक्ट के लिए रेल मंत्रालय के अफसर खुद विदेश मंत्रालय जाकर विदेश मंत्री को इस योजना के बारे में अवगत कराते रहे हैं. रेल कारखाने के लिए जगह भी तय कर ली गई है. विदिशा जिले में विदिशा से 61 किलोमीटर की दूरी पर 22 एकड़ की जमीन अधिगृहीत कर ली गई है. अब प्रभू की पहल पर रेल कारखाना जल्द से जल्द शुरू करने की कोशिश रंग लाने लगी है.

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