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पोते की जान बचाने के लिए बाघ से भिड़ गया बुजुर्ग

टाइगर जैसे ही बुजुर्ग को पकड़कर खींचने लगा कुछ ही दूरी पर दूसरे लोग भी शोर सुनकर वहां पहुंचे और बाघ की ओर दौड़ पड़े.

रणथम्भौर इलाके की है घटना रणथम्भौर इलाके की है घटना
शरत कुमार
  • जयपुर,
  • 11 अप्रैल 2017,
  • अपडेटेड 7:12 AM IST

राजस्थान के रणथम्भौर में एक बाघ के खेत में घुसकर बुजुर्ग पर हमले की घटना के बाद दहशत फैल गई है. अपने पोते को बचाने के लिए के एक बुजुर्ग बाघ से भिड़ गया. बुजुर्ग के हौसले के सामने बाघ पस्त हो गया और पोते को छोड़कर भाग गया. हालांकि घटना में बुजुर्ग को काफी चोट आई है और उन्हें सवाई माधोपुर के अस्पताल में भर्ती कराया गया है.

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घटना रणथम्भौर के खण्डार वन क्षेत्र के अणतपुरा गांव की है. जहां 70 साल के बुजुर्ग माधो लाल बैरवा अपने पोते को घर के बाहर शौच करवाने के लिये पास के ही खेतो में ले गया था. तभी रणथम्भौर के एक टाइगर ने जंगल से निकलकर वहां बच्चे पर हमला कर दिया. बाघ के हमले से संभलते हुए माधोलाल बैरवा ने अपने पोते को बचाने के लिये हाथ में लाठी लेकर बाघ का सामना किया.

बाघ और बुजुर्ग के बीच मुठभेड़ हुई और बुजुर्ग बाघ को वहां से भगाने की कोशिश करने लगा. बच्चे की तरफ लपकते टाइगर ने बीच में खड़े बुर्जुग माधोलाल पर हमला कर दिया, जिसमें माधोलाल बुरी तरह से घायल हो गए. टाइगर जैसे ही बुजुर्ग को पकड़कर खींचने लगा कुछ ही दूरी पर दूसरे लोग भी शोर सुनकर वहां पहुंचे और बाघ की ओर दौड़ पड़े.

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टाइगर ने बीच-बचाव से पहले ही बुजुर्ग को गंभीर रूप से घायल कर दिया था और वो जंगल की ओर भाग खड़ा हुआ. बुजुर्ग के परिजनों ने ग्रामीणों की सहायता से उन्हें खण्डार के सीएससी में भर्ती करवाया जहां प्राथमिक उपचार के बाद बुजुर्ग को सवाई माधोपुर अस्पताल में रेफर कर दिया गया.

वन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक घटना वाले क्षेत्र में टाइगर टी-65 और टी-20 का रहते हैं. हालांकि अभी तक हमला करने वाले टाइगर की सही पहचान नहीं हो पाई है और वन विभाग की टीम जांच-पड़ताल में जुटी है. हमले में घायल हुए माधोलाल बैरवा की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है. इस घटना में गनीमत ये रही कि अपने पोते की जान बचाने वाले दादा की भी जान बच गई और कोई अनहानी नहीं हुई वरना कोई बड़ा हादसा हो सकता था.

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