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राजस्थान सरकार ने स्वास्थ्य विभाग से मुस्लिम कर्मचारियों की मांगी सूची

स्वास्थ्य विभाग के उप निदेशक ने 20 नवंबर को यह पत्र जारी किया है. सरकारी कर्मचारियों खासकर मुस्लिम कर्मचारियों में बेचैनी है कि आखिर इस तरह से मुस्लिम कर्मचारियों की सूची अलग से क्यों बनाई जा रही है.

प्रतीकात्मक फोटो प्रतीकात्मक फोटो
शरत कुमार/रणविजय सिंह
  • जयपुर,
  • 12 दिसंबर 2017,
  • अपडेटेड 7:29 PM IST

राजस्थान सरकार ने सरकारी कर्मचारियों को लेकर एक अजीबोगरीब फरमान निकाला है. राजस्थान के स्वास्थ्य निदेशालय की तरफ से सभी जिला मुख्यालयों को एक पत्र लिखा गया है कि उनके यहां कितने मुस्लिम कर्मचारी हैं उनकी एक सूची बनाकर जयपुर मुख्यालय को भिजवाई जाए. इस पत्र में यह भी लिखा गया है यह जानकारी भारत सरकार को भेजवानी है.

स्वास्थ्य विभाग के उप निदेशक ने 20 नवंबर को यह पत्र जारी किया है. सरकारी कर्मचारियों खासकर मुस्लिम कर्मचारियों में बेचैनी है कि आखिर इस तरह से मुस्लिम कर्मचारियों की सूची अलग से क्यों बनाई जा रही है. राजस्थान सरकार के स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है कि यह जानकारी कर्मचारियों के बेहतर विकास को लेकर रणनीति बनाने के लिए इकट्ठा की जा रही है. जबकि सूबे के स्वास्थ्य मंत्री कालीचरण सराफ का कहना है कि उन्हें इस बारे में पूरी जानकारी अभी नहीं है. उन्होंने तथ्य मंगवाए हैं.  

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कांग्रेस नेता सचिन पायलट का कहना है कि बीजेपी की रणनीति लोगों को बांटकर राज करने की रही है. इसी वजह से इस तरह के हथकंडे अपना कर समाज में दरार पैदा करने की कोशिश की जा रही है. आज तक के पास स्वास्थ्य विभाग की तरफ से जिला मुख्यालयों को भेजा गया पत्र है.

गौरतलब है कि इसके पहले भी स्वास्थ्य विभाग में जातिगत आधार पर जिलों में कर्मचारियों की तैनाती की सूची मांगी थी और यह तर्क दिया था कि बेहतर कामकाज के लिए सूची बनाई जा रही है. लेकिन मामला बढ़ने पर स्वास्थ्य मंत्री ने इस पूरे करवाई से पल्ला झाड़ते हुए इसे क्लर्क का मिस्टेक बता दिया.

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