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बाढ़ से जलमग्न हुआ असम का ये गांव, जान बचाने को लोगों ने छोड़े घर

'आजतक' की टीम ने नौगांव जिले के पुरानी गोदाम गांव का जायजा लिया. ब्रम्हपुत्र नदी से लगती हुई धारा के दोनों तरफ इस गांव में कई घर हैं. धारा के इस तरफ घरों में ताला लगा हुआ है और सामान तैर रहा है. घरों को जाने वाले रास्ते पर तीन से 4 फुट तक पानी भरा है.

असम में बाढ़ से बुरा हाल असम में बाढ़ से बुरा हाल
आशुतोष मिश्रा
  • नौगांव ,
  • 15 जुलाई 2017,
  • अपडेटेड 1:44 PM IST

बाढ़ ग्रस्त असम के 28 जिलों के जलमग्न होने के बाद पानी का स्तर पर धीरे-धीरे कम हो रहा है. लेकिन अभी भी सैकड़ों गांव ऐसे हैं जो बाढ़ की चपेट में है. बाढ़ प्रभावित लोगों का हाल जानने के लिए 'आजतक' की टीम नौगाम जिले में पहुंची. असम का नौगांव उन 28 जिलों में से एक है जो बाढ़ की मार झेल रहा है.

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नौगांव के कई गांव में पानी अभी भी तीन-चार फुट से ज्यादा डूबे हुए हैं. गांव के लोग सामान घरों में छोड़कर जान बचाने के लिए दूसरे इलाकों में चले गए हैं. 'आजतक' की टीम ने नौगांव जिले के पुरानी गोदाम गांव का जायजा लिया. ब्रम्हपुत्र नदी से लगती हुई धारा के दोनों तरफ इस गांव में कई घर हैं. धारा के इस तरफ घरों में ताला लगा हुआ है और सामान तैर रहा है. घरों को जाने वाले रास्ते पर तीन से 4 फुट तक पानी भरा है.

इस गांव में रहने वाली कुसुम ने बातचीत में कहा कि पिछले 15 दिन से वह बाढ़ से प्रभावित हैं लेकिन मदद करने के लिए उनके पास अब तक कोई नहीं आया. कुसुम के पति प्रदीप ने भी बताया गांव के सारे लोग अपने घर छोड़कर दूसरे स्थानों पर जा चुके हैं. हालांकि दोनों का कहना है पिछले दो-तीन दिनों से बारिश ना होने की वजह से पानी का स्तर कम हो रहा है. पिछले 3 दिनों में पानी का स्तर 5 फुट से घटकर 3-4 फुट तक आ चुका है. गांव में बना स्कूल बाढ़ के चलते बंद है. स्कूल परिसर किसी विशाल जलाशय का आकार ले चुका है जहां लगभग 2 फुट पानी अभी भी भरा है.

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पुरानी गोदाम गांव के आसपास सटे हुए लगभग सभी गांवों का यही हाल है. नौगांव जिला गोलाघाट जिले से सटा हुआ है जहां पर काजीरंगा वाइल्ड लाइफ सेंचुरी भी है. पूरा इलाका बाढ़ से पूरी तरह जलमग्न है. सबसे बड़ा सवाल यह है कि सरकार दावा कर रही हैं कि बाढ़ पीड़ितों की मदद की जा रही है लेकिन बाढ़ प्रभावितों की माने तो मदद अभी तक उन तक नहीं पहुंची है. जरूरत है की बाढ़ में अपना सब कुछ खो चुके लोगों को जल्दी से जल्दी मदद पहुंचाई जाए.

 

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