
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और सोनिया गांधी से जुड़े नेशनल हेराल्ड केस में बीजेपी के राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने शनिवार को ट्रायल कोर्ट को आयकर विभाग के दस्तावेज सौंपे. स्वामी ने कोर्ट में कहा कि इन दस्तावेजों से कांग्रेस के शीर्ष नेताओं पर नेशनल हेराल्ड में घोटाला साबित हो जाता है.
ट्रायल कोर्ट में सुब्रमण्यम स्वामी ने यंग इंडियन कंपनी के खिलाफ भेजे गए आयकर विभाग के ऑर्डर की कॉपी पेश की. करीब 105 पन्नों की इस ऑर्डर कॉपी में कथित तौर पर नेशनल हेराल्ड पर धोखाधड़ी का आरोप लगाया गया है. स्वामी ने ये भी कहा कि इस ऑर्डर से ये साबित होता है कि 2 हजार करोड़ की संपत्ति पाने के लिए ये साजिश रची गई.
स्वामी ने बताया कि ऑर्डर में ये भी कहा गया है कि कांग्रेस पार्टी ने एसोसिएट्स जर्नल्स लिमिटेड को 90 करोड़ रुपये देने का जो दावा किया है, वो गलत है. पार्टी की तरफ से ऐसी कोई रकम एजेएल (AJL) को नहीं दी गई है.
सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि उन्होंने इस केस में जो भी दलीलें दी थीं और आरोप लगाए हैं, वो इस आईटी ऑर्डर से एकदम सही साबित होते हैं. स्वामी ने कहा कि ये पूरी डील एक स्कैम थी.
वहीं जज ने जिरह के बाद केस की अगली सुनवाई के लिए 17 मार्च का दिन मुकर्रर किया है. साथ ही कोर्ट ने अगली सुनवाई तक सभी दस्तावेज गोपनीय रखने का आदेश दिए हैं.
एसोसिएट्स जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) नेशनल हेराल्ड अखबार की मालिकाना कंपनी है. कांग्रेस ने 26 फरवरी 2011 को इसकी 90 करोड़ रुपये की देनदारियों को अपने जिम्मे ले लिया था. इसका अर्थ ये हुआ कि पार्टी ने इसे 90 करोड़ का लोन दे दिया. इसके बाद 5 लाख रुपये से यंग इंडियन कंपनी बनाई गई, जिसमें सोनिया और राहुल की 38-38 फीसदी हिस्सेदारी है. बाकी की 24 फीसदी हिस्सेदारी कांग्रेस नेता मोतीलाल वोरा और ऑस्कर फर्नांडीज के पास है.
इसके बाद टीएजेएल के 10-10 रुपये के नौ करोड़ शेयर 'यंग इंडियन' को दे दिए गए और इसके बदले यंग इंडियन को कांग्रेस का लोन चुकाना था. 9 करोड़ शेयर के साथ यंग इंडियन को इस कंपनी के 99 फीसदी शेयर हासिल हो गए. इसके बाद कांग्रेस पार्टी ने 90 करोड़ का लोन भी माफ कर दिया. यानी 'यंग इंडियन' को मुफ्त में टीएजेएल का स्वामित्व मिल गया.
बीजेपी के राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यन स्वामी का आरोप है कि यह सब कुछ दिल्ली में बहादुर शाह जफर मार्ग पर स्थित हेराल्ड हाउस की 16 सौ करोड़ रुपये की बिल्डिंग पर कब्जा करने के लिए किया गया.
इस केस की सुनवाई दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट में चल रही है. जून 2017 में बेंगलुरू में राहुल गांधी ने राष्ट्रीय नेशनल हेराल्ड का स्मारक प्रकाशन जारी किया था. जिसके बाद नेशनल हेराल्ड का प्रकाशन फिर से शुरू हो गया था.