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ऑनलाइन शॉपिंग के दौरान ध्यान रखें ये 6 बातें, कभी नहीं खाएंगे धोखा

अगर आपको भी ऑनलाइन शॉपिंग का शौक है तो थोड़ी सावधानी बरतना भी जरूरी है. शॉपिंग शुरू करने से पहले याद रखिए कि कंप्यूटर में एंटी-वायरस ज़रूर हो.

इन तरीकों से करें सेफ खरीदारी इन तरीकों से करें सेफ खरीदारी
स्वाति गुप्ता
  • नई दिल्ली,
  • 03 दिसंबर 2015,
  • अपडेटेड 5:48 PM IST

इस बढ़ते ई-कॉमर्स बाजार में ऑनलाइन खरीदारी का ट्रेंड बढ़ता जा रहा है. ऐसे में अगर आपको भी ऑनलाइन शॉपिंग का शौक है तो समझदारी और सावधानी, दोनों जरूरी हैं. शॉपिंग शुरू करने से पहले याद रखिए कि कंप्यूटर में एंटी-वायरस जरूर होना चाहिए.

इसके साथ ही आइए जानते हैं ऑनलाइन शॉपिंग के दौरान हमेशा याद रखने वाली 6 बातें जो आपको किसी भी तरह की धोखाधड़ी से बचाएंगी :

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1. अनजान साइट से न करें शॉपिंग
ऑनलाइन खरीदारी के समय इंटरनेट सिक्युरिटी बेहद जरूरी है. इसका मतलब यह है कि आप हमेशा किसी भरोसे वाली साइट से ही खरीदारी करें. अगर आप किसी अनजान साइट से पेमेंट करते हैं तो हो सकता है कि आपका एकाउंट कुछ ही घंटों में साइबर क्राइम के घेरे में आकर खाली हो जाए. वहीं अनजान साइट से शॉपिंग करने पर आप इस रकम को क्लेम भी नहीं कर पाएंगे.

2) http और https में फर्क समझें
अगर आप ऑनलाइन शॉपिंग कर रहे हैं तो सबसे पहले ध्यान रखें कि जिस वेबसाइट से सामान खरीद रहें है उसके एड्रेस में https हो, न कि http. यहां इस जुड़े 'S' का मतलब सिक्योरिटी की गारंटी से होता है. इसका मतलब है कि यह साइट फेक नहीं है. हालांकि कभी-कभी यह 'S' लेटर वेबसाइट में तब जुड़ता है जब बारी ऑनलाइन पेमेंट करने की आती है.

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3) वेबसाइट की पूरी जानकारी चेक करें
हमेशा यह चेक करें कि जहां से आप सामान ख़रीद रहे हैं उसका पता, फ़ोन नंबर और ईमेल एड्रेस वेबसाइट पर लिखा ही हो. जहां धोखाधड़ी की गुंजाइश होती है वहीं अक्सर जानकारी छिपाई जाती है.

4) पेमेंट सिस्टम
इसके अलावा एक और बात ध्यान दी जाने वाली है वो ये कि क्या आप वेबसाइट के पेमेंट सिस्टम में वेरीफ़ाइड बाइ वीज़ा या मास्टरकार्ड सिक्योरकोड के ज़रिए पेमेंट कर सकते हैं? इसका जवाब हमेशा हां होना चाहिए क्योंकि यह धोखाधड़ी से आपको बचाने में मदद करता है. अगर इन सब जांच परख के बाद आप संतुष्ट हैं तभी खरीदारी करें.

5) कंपनी की शर्तों को ढंग से समझें
अक्सर ऐसा होता है कि कंपनियां 500 रुपये से ज्यादा की खरीदारी पर फ्री डिलिवरी का ऑफर देती हैं. कस्टमर को भी यह काफी सुविधाजनक लगता है. लेकिन कभी-कभी फ्री डिलिवरी के साथ ही कुछ शर्तें भी लिखी रहती हैं, जिन पर कस्टमर ध्यान नहीं देते और इस वजह से बाद में उनको अतिरिक्त कीमत चुकानी पड़ती है. ये वो चार्ज होते हैं जो कस्टमर को लुभाने के लिए शुरू में बताए ही नहीं जाते.

6) सामान को तुरंत चेक करें
कई बार ऐसे मामले सामने आए है जिनमें कंपनियों की खूब धांधली देखने को मिलती है. कई लोग अपना ऑर्डर खोल के देखते है तो उसमें पुरानी चीजें या फिर दी गई जानकारी से हटकर घटिया स्तर का सामान मिलता है. इसलिए सामान को डिलीवरी बॉय के सामने ही चेक करें. अगर कुछ गड़बड़ी लगे तो उसी के सामने ही सामान की तस्वीर ले लें. ऐसे में रकम क्लेम करने में आसानी होगी.

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