
कॉन्ट्रैक्ट पर बहाल 17000 स्वास्थ्य कर्मियों के पिछले 4 दिनों से चल रहे अनिश्चितकालीन हड़ताल पर कड़ा रुख अपनाते हुए बिहार सरकार ने कहा है कि अगर यह सभी स्वास्थ्यकर्मी शुक्रवार की शाम तक वापस अपने काम पर नहीं लौटते हैं तो इन सभी का अनुबंध समाप्त कर इन्हें नौकरी से बर्खास्त कर दिया जाएगा. पूरे बिहार में स्वास्थ्य कर्मी समान काम-समान वेतन की मांग और नौकरी स्थाई करने की मांग को लेकर हड़ताल पर हैं.
गुरुवार को मीडिया से बातचीत करते हुए स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव आर. के महाजन ने कहा कि हड़ताली स्वास्थ्य कर्मियों की मांग अनुचित है और चेतावनी दी कि सभी स्वास्थ्यकर्मी अगर शुक्रवार की शाम तक काम पर नहीं लौटते हैं तो उन्हें तुरंत बर्खास्त कर शनिवार से नई बहाली की जाएगी.
महाजन ने कहा कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत कॉन्ट्रैक्ट पर बहाल किए गए स्वास्थ्य कर्मियों को समान काम-समान वेतन नियम का फायदा नहीं मिल सकता है और यह बात सभी स्वास्थ्यकर्मी अच्छी तरीके से जानते तो जब उन्हें सरकार ने कॉन्ट्रैक्ट पर बहाल किया था.
हालांकि, महाजन ने कहा कि केंद्र सरकार से बातचीत करने के बाद राज्य सरकार ने इस बात का फैसला किया है कि जो भी स्वास्थ्यकर्मी जिन्होंने 5 साल सेवा दे दी है उन्हें राज्य सरकार 15 फिसदी का वेतन वृद्धि देगी. इसी प्रकार जिस स्वास्थ्य कर्मी ने 3 साल की सेवा दे दी है उन्हें राज्य सरकार 10% की वेतन वृद्धि देगी.
राज्य सरकार ने हड़ताली स्वास्थ्य कर्मियों के अंतर जिला ट्रांसफर की मांग को भी स्वीकार कर लिया है. महाजन ने इस बात को लेकर भी स्पष्टीकरण दिया कि राज्य में कॉन्ट्रैक्ट पर बहाल स्वास्थ्य कर्मियों की संख्या 80000 नहीं बल्कि केवल 17000 है.