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प्रेंग्नेसी में बॉडी सोप इस्तेमाल करना हो सकता है हानिकारक...

प्रेग्‍नेंसी पीरियड के दौरान कई तरह की हिदायतें दी जाती हैं ताकि किसी भी अनहोनी से बचा जा सके लेकिन क्‍या आप जानती हैं कि आपका साबुन भी इस दौरान आपको नुकसान पहुंचा सकता है...

प्रेग्‍नेंसी पीरियड प्रेग्‍नेंसी पीरियड
वन्‍दना यादव
  • नई दिल्‍ली,
  • 08 अगस्त 2016,
  • अपडेटेड 3:58 PM IST

चीन के बीजिंग में हुए एक अध्ययन के अनुसार साबुन और शैंपू जैसी रोजमर्रा की चीजों का लंबे समय तक इस्‍तेमाल करना गर्भपात का कारण बन सकता है. पेकिंग यूनिवर्सिटी में 300 से अधिक महिलाओं पर एक अध्ययन किया गया, जिसमें शोधकर्ताओं ने पाया कि दैनिक इस्तेमाल की चीजों में प्रयोग किए जाने वाले कुछ फैथलेट्स का गर्भपात से संबंध हो सकता है जो कि अधिकांश गर्भावस्था के 5 से 13 हफ्तों में होता है.

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अध्ययन में इस बात के प्रमाण भी मिले कि इन उत्पादों को बनाने वाले लोग ही नहीं, बल्कि इनके संपर्क में आने वाले आम लोगों पर भी इसका बुरा प्रभाव पड़ता है. शोधकर्ताओं ने 172 स्वस्थ गर्भवती व 132 गर्भपात से जूझ चुकी चीनी महिलाओं के यूरिन टेस्‍ट की जांच की और उन्‍होंने पाया कि कुछ फैथलेट्स के उच्च स्तरों से संपर्क में रहने का संबंध गर्भपात से भी हो सकता है.

आमतौर पर इनमें से अधिकांश उत्पाद रंग-रोगन, मेडिकल ट्यूब्स, विनायल फ्लोरिंग, साबुन, शैंपू आदि में पाए जाते हैं. फैथलेट्स पर पहले हुए शोध बताते हैं कि इनके कम स्तर के कुछ मिश्रणों से लंबे समय तक संपर्क में रहने पर लैब के जीवों के स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा था और यह उनके गर्भपात के खतरे को बढ़ा सकता है. इस स्‍टडी को एंवयारमेंट साइंस एंड टेक्नोलोजी जर्नल में पब्लिश किया गया है.

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