
बीएसएफ जवान तेज बहादुर यादव को पुंछ सेक्टर में 29वीं बटालियन वापस भेज दिया गया है. यादव ने जवानों को मिलने वाले खाने की क्वालिटी को लेकर 4 वीडियो सोशल मीडिया पर डाले थे. वीडियो वायरल होने के बाद उनका तबादला कर दिया गया था.
पूछताछ के बाद ड्यूटी पर जवान
इंडिया टुडे के सूत्रों के मुताबिक तेज बहादुर यादव को राजौरी में पूछताछ के बाद बटालियन वापस भेजा गया है. बीएसएफ के एक सीनियर अफसर ने कहा- 'एक डीआईजी रैंक के अफसर यादव के आरोपों की जांच कर रहे हैं. इस सिलसिले में यादव के अलावा बटालियन के दूसरे जवानों से भी पूछताछ की गई है. जरुरत पड़ने पर दोबारा पूछताछ हो सकती है.' सूत्रों का दावा है कि यादव को अब दोबारा रोड ओपनिंग पार्टी में शामिल नहीं किया जाएगा. उन्हें बटालियन में कोई दूसरा काम सौंपा जाएगा.
पहले यादव की उंगली में चोट लगने की खबर सामने आई थी. लेकिन बीएसएफ के आधिकारिक सूत्रों की मानें तो वो अपनी ड्यूटी निभाने के लिए पूरी तरह फिट हैं. सूत्र ये दावा भी कर रहे हैं कि यादव को संवेदनशील चौकियों पर सिर्फ 10 दिनों तक तैनात किया गया था. इस तैनाती के दौरान ही उन्होंने वीडियो शूट किए थे.
क्या थे आरोप?
तेज बहादुर यादव ने वीडियो में आरोप लगाया था कि बीएसएफ जवानों को मिलने वाली दाल और परांठे की क्वालिटी बेहद खराब है. उनका कहना था कि कई बार जवानों को 11 घंटे बर्फ में खड़ा रहने के बाद भूखे पेट सोना पड़ता है. यादव का दावा था कि जवानों को मिलने वाले राशन में सीनियर अफसर धांधली कर रहे हैं. इसके बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय ने जांच के आदेश दिए थे.
बीएसएफ की सफाई
बीएसएफ ने गृह मंत्रालय को सौंपी गई शुरुआती रिपोर्ट में यादव के आरोपों को सिरे से खारिज किया है. हालांकि मामले की अंतिम रिपोर्ट अभी आनी बाकी है. लेकिन बीएसएफ ने गृह मंत्रालय को बताया है कि 29वीं बटालियन के किसी दूसरे जवान ने यादव के आरोपों की तस्दीक नहीं की है.
पिछले हफ्ते बीएसएफ ने बटालियन के कमांडिंग अफसर प्रवीण कुमार और उनके डिप्टी एस एस सिरहोई का तबादला कर दिया था. इसके अलावा मेस कमांडर को भी जांच पूरी होने तक छुट्टी पर भेज दिया गया था. हालांकि बीएसएफ का कहना था कि तबादले निष्पक्ष जांच के लिए किए गए हैं.