
चीन ने लंबे समय से चली आ रही अपनी मुद्रा विनिमय नीति में बदलाव का संकेत दिया है. अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के व्यापार युद्ध की चेतावनी को देखते हुये चीन ने अपनी मुद्रा को डालर के समक्ष उदार बनाने की दिशा पहल की अपनी मंशा जाहिर की है.
हांग कांग से निकलने वाले चाइना मॉर्निग पोस्ट ने एक रिपोर्ट में कहा कि पहली बार वार्षिक सरकारी रिपोर्ट में चीन ने युआन के बारे में एक स्थिर वैश्विक दर्जा दिलाने को अपना प्रमुख कार्य बताया है. इससे पहले चीन एक तार्किक और संतुलित स्तर पर युआन को स्थिर रखने की बात करता रहा है. इस बार की सालाना सरकारी रिपोर्ट में यह पंक्ति नहीं है.
चीन की संसद, दि नेशनल पीपुल्स कांग्रेस (एनपीसी) में कल पेश अपनी लंबी रिपोर्ट में चीन के प्रधानमंत्री ली क्विंग ने कहा, रेनिंबी की विनिमय दर को और उदार बनाया जायेगा और वैश्विक मौद्रिक प्रणाली में मुद्रा की स्थिर स्थिति को बनाये रखा जायेगा.
पत्र की रिपोर्ट के अनुसार वार्षिक रिपोर्ट में जिन शब्दों का इस्तेमाल किया गया है उससे लगता है कि बीजिंग अमेरिकी डालर के समक्ष युआन की विनिमय दर को लेकर उदारता बरतेगा और वर्ष के दौरान विदेशी मुद्रा विनिमय दर में अपना हस्तक्षेप धीरे धीरे कम करेगा.
अमेरिका के राष्ट्रपति डानोल्ड ट्रंप ने अपने चुनाव अभियान के दौरान और उसके बाद चीन के खिलाफ इस मामले में कड़े वक्तव्य दिये हैं. ट्रंप ने चीन को मुद्रा विनिमय दर के मामले में साठगांठ करने वाला देश बताया था. ट्रंप के मुताबिक ऐसा कर वह निर्यात से अनुचित लाभ उठाता है. ट्रंप ने इस स्थिति का सामना करने के लिये चीन के माल पर शुल्क लगाने तक की धमकी दी है. चीन की मुद्रा युआन पिछले साल 6.6 प्रतिशत कमजोर हुई है.