
डेंगू-चिकनगुनिया को लेकर दिल्ली हाइकोर्ट ने सिविक एजेंसियों को फिर से फटकार लगाई है. कोर्ट ने नाराजगी जताते हुए कहा कि इन हालातों में दिल्ली के लोग आखिर कैसे रहें और सिविक एजेंसियों को कितनी बार कहा जाए. कोर्ट की यह नाराज़गी दिल्ली में डेंगू चिकनगुनिया और मलेरिया के कुछ नए मामले सामने आने को लेकर थी.
दिल्ली हाईकोर्ट ने एमसीडी को 8 हफ़्ते में स्टेटस रिपोर्ट देने को कहा है. डेंगू-चिकनगुनिया पर रोकथाम की मांग से जुड़ी याचिका पर सुनवाई करते हुए एमसीडी को निर्देश दिया है कि वे अपनी एक्शन रिपोर्ट पेश करें कि पिछले कुछ महीनों में इन बीमारियों को रोकने के लिए उन्होंने क्या किया.
इसके अलावा दिल्ली हाइकोर्ट ने केंद्र को निर्देश दिया है कि वो ई-वेस्ट मैनेजमेंट के लिए राजधानी में कदम उठाए और 8 हफ्तों में अपनी स्टेटस रिपोर्ट दायर करे. कोर्ट इस मामले की अगली सुनवाई 7 अगस्त को करेगा.
राजधानी में मानसून शुरू होने में अभी ज़्यादा वक्त नहीं बचा है और बारिश में लंबा वक्त बाकी है. ऐसे में शुरुआती चरण में ही डेंगू और चिकनगुनिया के इतने ज्यादा मामले सरकार और सिविक एजेंसियो के लिए चिंता का सबब बन सकते हैं. कोर्ट भी इस मामले को लेकर खासा गंभीर है क्योंकि पिछले कुछ साल में ये बीमारियां महामारी का रूप ले चुकी हैं जिनकी चपेट में हज़ारों लोग आ चुके हैं और सैकड़ों की जान चली गयी है.