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चुनाव आयोग ने गुरुवार को जेडीयू के अध्यक्ष शरद यादव को उस टिप्पणी के लिए नोटिस जारी किया जिसमें उन्होंने कथित तौर पर दैवीय क्रोध के नाम पर वोटरों को प्रभावित करने की कोशिश की. आयोग ने कहा कि यादव ने बिहार में लागू आदर्श चुनाव आचार संहिता का प्रथम दृष्टया उल्लंघन किया है.
आयोग ने बीते सात अक्तूबर को नालंदा में एक चुनावी रैली के दौरान शरद यादव की ओर से की गई कथित टिप्पणी पर संज्ञान लिया था. कथित तौर पर यादव ने कहा था, जो अपना वादा पूरा नहीं करते, तो हिंदुओं को स्वर्ग में जगह नहीं मिलेगी और मुस्लिम जन्नत में अल्लाह से नहीं मिल पाएंगे.
'ईश्वर के नाम पर डराना गलत'
चुनाव आयोग ने कहा कि किसी मतदाता के स्वतंत्र मतदान के अधिकार में दखल देना और उसे यह यकीन दिलाने की कोशिश करना कि वह दैवीय क्रोध का शिकार हो जाएगा, दरअसल आईपीसी के साथ-साथ 1951 के जनप्रतिनिधित्व कानून के प्रावधानों का भी उल्लंघन है.
आयोग ने यादव को नोटिस का जवाब देने के लिए 17 अक्तूबर को दोपहर तीन बजे तक का वक्त दिया है . इस समय सीमा तक जवाब न देने पर आयोग कोई भी फैसला करने के लिए स्वतंत्र होगा.
- इनपुट भाषा