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सड़क हादसा रोकने को महिला सब इंस्पेक्टर ने शादी कार्ड पर लिखवाए ट्रैफिक नियम

भरतपुर ट्रैफिक पुलिस में तैनात महिला सब इंस्पेक्टर मंजू फौजदार ने बताया कि आगामी 19 अप्रैल को उनकी शादी है. इसके लिए अपने रिश्तेदारों और परिचितों को शादी का निमंत्रण देने के लिए जो कार्ड छपवाए हैं उनमें यातायात नियमों को अंकित कराया है.

सब इंस्पेक्टर मंजू फौजदार सब इंस्पेक्टर मंजू फौजदार
शरत कुमार/वरुण शैलेश
  • नई दिल्ली,
  • 09 अप्रैल 2018,
  • अपडेटेड 3:09 AM IST

राजस्थान के भरतपुर में ट्रैफिक पुलिस में तैनात महिला पुलिस सब इंस्पेक्टर ने सड़क दुर्घटनाओं पर रोक लगाने के लिए एक नई पहल की है. महिला पुलिस अधिकारी ने अपनी शादी के कार्डों पर यातायात नियमों को प्रकाशित कराया है ताकि लोगों को जागरूक किया जा सके.  

भरतपुर ट्रैफिक पुलिस में तैनात महिला सब इंस्पेक्टर मंजू फौजदार ने बताया कि आगामी 19 अप्रैल को उनकी शादी है. इसके लिए अपने रिश्तेदारों और परिचितों को शादी का कार्ड देने के लिए जो कार्ड छपवाए हैं उनमें यातायात नियमों को अंकित कराया है. इसका मकसद है कि लोग ट्रैफिक नियमों का पालन करें ताकि सड़क दुर्घटनाओं में कमी आए. साथ ही ड्यूटी के दौरान वह देखती हैं कि ज्यादातर युवा ट्रैफिक नियमों का पालन नहीं करते हैं और बगैर हेलमेट लगाए वाहन चलाते हैं जिसके चलते आए दिन सड़क दुर्घटनाओं में मौतें हो रही हैं. इसलिए वह ड्यूटी के दौरान अपने कर्तव्य का निर्वाह तो करती हैं, साथ ही अपनी शादी के मौके पर भी कार्डों द्वारा लोगों को ट्रैफिक नियमों के बारे में जागरूक कर रही हैं.

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इसलिए लिया संकल्प

भरतपुर के कुम्हेर थाना क्षेत्र के गांव बेलारा कला की रहने वाली मंजू के पिता ईश्वर सिंह भी पुलिस में सिपाही थे, लेकिन दुर्घटना में उनकी मौत हो गई. उस समय वह मात्र 1 साल की थीं. उनके इकलौते भाई देवेंद्र सिंह  की भी दुर्घटना में मौत हो गई और परिवार में महज दो बहन और मां बची हैं. मां ने अपने पति के सपने को पूरा करने के लिए अपनी बेटी मंजू फौजदार को खूब पढ़ाया-लिखाया जिससे आज वह एक पुलिस अधिकारी बन सकीं.

मंजू ने बताया कि उनके पिता और इकलौते भाई की मौत के बाद मां ने दोनों बेटियों को खूब पढ़ाया जिसके चलते आज वह पुलिस सब इंस्पेक्टर बन सकीं. उनकी कोशिश है कि वह लोगों को यातायात नियमों की जानकारी देने व पालन करवाते हुए सड़क दुर्घटना में हो रही मौतों को रोक सकें. हादसे में पहले उनके पिता की मौत हुई और फिर बाद में भाई की मौत हो गई जिसके बाद मंजू ने संकल्प लिया कि वह एक दिन पुलिस सब इंस्पेक्टर बनकर सड़क हादसों को रोकने का प्रयास करेंगी.

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