
भारत में क्रिकेट को एक धर्म के तौर पर माना जाता है. और क्रिकेट का महाकुंभ कहे जाने वाले आईपीएल में भारत के क्रिकेटप्रेमियों की जान बसती है. पिछले 10 वर्ष में आईपीएल ने क्रिकेटप्रेमियों के दिल में जगह बना ली है, लेकिन इस दौरान आईपीएल ने भारत के क्रिकेट के साथ कुछ ऐसा भी किया है. जिससे हर कोई दुखी हुआ है.
आईपीएल के 10 वर्ष के इतिहास में भारतीय क्रिकेट के दिग्गज कप्तानों को काफी कुछ सहना पड़ा है. इस सीजन से पहले वो चाहे महेंद्र सिंह धोनी को पुणे की कप्तानी से हटाना हो, या फिर लगातार हार झेल रही रॉयल चैलेंजर्स बंगलुरु के कप्तान विराट कोहली की लगातार आलोचना की जा रही है. इससे पहले भी सौरव गांगुली को कोलकाता की कप्तानी से हटाया गया था.
पढ़ें आखिर कैसे भारत के दिग्गज कप्तानों के साथ आईपीएल के दौरान अच्छा व्यवहार नहीं हुआ है -
1. महेंद्र सिंह धोनी
IPL के 10वें सीजन शुरू होने से पहले पुणे सुपरजायंट ने एक चौंकाने वाला फैसला लिया. उन्होंने महेंद्र सिंह धोनी को कप्तानी से हटा दिया, जिसकी काफी आलोचना की गई. वहीं आईपीएल के दौरान भी पुणे टीम के मालिक संजीव गोयनका के भाई हर्ष गोयनका लगातार ट्विटर के जरिये धोनी पर निशाना साधते रहे हैं. वहीं धोनी के फैंस ने भी ट्विटर पर हर्ष गोयनका को इस बात का कई बार जवाब दिया है.
गौरतलब है कि पिछले काफी समय से धोनी के दिन कप्तानी में अच्छे नहीं चल रहे थे, पिछले सीजन में भी पुणे धोनी की कप्तानी में अच्छा प्रदर्शन नहीं कर पाई थी.
2. विराट कोहली
भारतीय कप्तान विराट कोहली इस समय क्रिकेट की दुनिया के सरताज हैं. लेकिन इस सीजन में उनकी टीम फिसड्डी साबित हुई. अभी तक के सीजन में बंगलुरु ने 13 मैच खेले हैं, जिसमें से वह सिर्फ 2 ही मैच जीत पाई. बंगलुरु के इस प्रदर्शन के बाद उनकी कप्तानी की आलोचना की जा रही थी. विराट कोहली ने खुद ट्वीट कर अच्छा प्रदर्शन ना कर पाने के कारण माफी भी मांगी थी.
3. सौरव गांगुली
भारत के दिग्गज कप्तान रहे सौरव गांगुली को भी आईपीएल में दुर्व्यवहार का सामना पड़ा था. IPl के पहले ही सीजन में कोलकाता नाइट राइडर्स का काफी बुरा हाल हुआ था. कोलकाता मात्र 3 ही मैच जीत पाई थी, और उसे 10 हार का सामना करना पड़ा था. जिसके बाद उन्हें कप्तानी से हटा दिया गया था. इसके अलावा 2011 के सीजन में आईपीएल ऑक्शन के दौरान गांगुली की बोली ही लगी थी लेकिन किसी टीम ने उन्हें खरीदा नहीं था. हालांकि बाद में वह पुणे वारियर्स का हिस्सा बने थे.