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JK: गेस्ट हाउस में नजरबंद महबूबा मुफ्ती से उनके भाई ने 20 मिनट तक की गुफ्तगू

केंद्र की मोदी सरकार ने 5 अगस्त को अप्रत्याशित फैसला लेते हए जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को निष्प्रभावी कर दिया और राज्य को 2 केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने के साथ ही राज्य के लगभग सभी शीर्ष नेताओं को हिरासत में ले लिया.

जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती (फाइल-IANS) जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती (फाइल-IANS)
अशरफ वानी
  • श्रीनगर,
  • 19 अक्टूबर 2019,
  • अपडेटेड 12:02 AM IST

  • सरकारी गेस्ट हाउस में हुई दोनों भाई-बहन की मुलाकात
  • पीडीपी से जुड़े सूत्र-दोनों के बीच 20 मिनट की मुलाकात
  • दोनों के बीच क्या बात हुई, इस पर सूत्र ने कुछ नहीं बताया

जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती से उनके भाई तसादुक हुसैन मुफ्ती ने शुक्रवार को उस सरकारी गेस्ट हाउस में मुलाकात की जहां वह हिरासत में हैं. हालांकि पूर्व मुख्यमंत्री से उनके भाई की मुलाकात का दावा पीडीपी से जुड़े सूत्रों ने किया है. पार्टी से जुड़े सूत्र बताते हैं कि दोनों के बीच महज 20 मिनट की मुलाकात हुई.

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पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) से जुड़े सूत्रों ने दोनों (बहन-भाई) की मुलाकात का दावा तो किया, लेकिन दोनों के बीच क्या बात हुई इस बारे में कोई भी जानकारी नहीं दी. जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती गेस्ट हाउस में हिरासत में रखी गई हैं जो अब सब जेल बना दिया गया है.

महबूबा मुफ्ती के भाई तसादुक हुसैन मुफ्ती पेशे से एक सिनेमेटोग्राफर हैं और महबूबा के कार्यकाल के दौरान वह राज्य में पर्यटन मंत्री रहे हैं.

इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने 5 सितंबर को पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती की बेटी इल्तिजा जावेद को अपनी मां से मिलने की अनुमति दे दी. सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने इल्तिजा जावेद को इस शर्त के साथ श्रीनगर जाने की अनुमति दे दी, कि उन्हें पहले संबंधित जिला अधिकारियों से अनुमति लेनी होगी.

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साथ ही महबूबा मुफ्ती का ट्विटर अकाउंट जम्मू-कश्मीर में इंटरनेट सेवाएं बंद होने के बाद से ही उनकी बेटी इल्तिजा मुफ्ती चला रही हैं.

5 अगस्त को खत्म हुआ 370

केंद्र की मोदी सरकार ने 5 अगस्त को अप्रत्याशित फैसला लेते हए जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को निष्प्रभावी कर दिया और राज्य को 2 केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने के साथ ही राज्य के लगभग सभी शीर्ष नेताओं को हिरासत में ले लिया और कई तरह के प्रतिबंध लगा दिए.

हालांकि काफी दिनों तक राज्य में भारी सुरक्षा होने के बाद चरणों में छूट दी गई. घाटी में भी कई चरणों में छूट दी गई. कश्मीर में सोमवार से मोबाइल सेवाओं को फिर से शुरू कर दिया गया. लेकिन एसएमएस की सुविधा को फिर से तब बंद कर दिया गया जब पिछली रात एसएमएस का दुरुपयोग करने की कोशिश की गई.

ऐहतियात के रूप में घाटी के कई शीर्ष नेताओं और अलगाववादी नेताओं को हिरासत में ले लिया गया जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और उमर अब्दुल्ला भी शामिल हैं, को या तो हिरासत में लिया गया है या उन्हें घर में नजरबंद रखा गया है.

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