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अब लद्दाख और मनाली तक पहुंचेगी ट्रेन

लद्दाख के लिए मनाली होते हुए बिलासपुर तक रेलवे लाइन से जोड़ने के मद्देनजर काम में तेजी एक बार फिर से दिखाई देनी शुरू हो गई है. लद्दाख ऑटोनॉमस हिल डेवलपमेंट काउंसिल यानी एलएएचडीसी से रेलवे ने जमीन का आवंटन करने की गुजारिश की है.

लेह-लद्दाख लेह-लद्दाख
सिद्धार्थ तिवारी
  • नई दिल्ली,
  • 06 सितंबर 2016,
  • अपडेटेड 5:21 AM IST

चीन के खतरे को देखते हुए मोदी सरकार ने लेह-लद्दाख को कश्मीर घाटी और हिमाचल प्रदेश से रेल मार्ग के जरिए जोड़ने की योजना को अमली जामा पहनाने की योजना पर काम करना शुरू कर दिया है. इसके लिए बिलासपुर-मंडी-मनाली-लेह रेलवे मार्ग के फाइनल लोकेशन सर्वे का जिम्मा रेलवे कंपनी राइट्स को सौंप दिया गया है.

लेह को श्रीनगर से जोड़ने की योजना
सर्वे के लिए 157 करोड़ रुपये की धनराशि रखी गई है. इसमें से 40 करोड़ रुपये की धनराशि जारी कर दी गई है. उधर दूसरी तरफ मोदी सरकार लेह को श्रीनगर से जोड़ने की योजना पर भी काम कर रही है. इसके लिए जोजिला-कारगिल होते हुए लेह तक रेलवे लाइन बिछाए जाने की योजना है.

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लद्दाख के लिए मनाली होते हुए बिलासपुर तक रेलवे लाइन से जोड़ने के मद्देनजर काम में तेजी एक बार फिर से दिखाई देनी शुरू हो गई है. लद्दाख ऑटोनॉमस हिल डेवलपमेंट काउंसिल यानी एलएएचडीसी से रेलवे ने जमीन का आवंटन करने की गुजारिश की है. जिससे लेह में कैंप ऑफिस बनाया जा सके. उत्तर रेलवे के आला अधिकारियों ने इस सिलसिले में लेह में बैठक की. बिलासपुर मनाली लेह रेलवे लाइन बिछाने की योजना के फाइनल लोकेशन सर्वे के सिलसिले में लेह में उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक एके पूठिया स्थानीय सांसद थुपस्तन छेवांग और एलएएचडीसी के अधिकारियों से मिले.

इस परियाजना पर करीब 50,000 करोड़ रुपये का खर्च
बिलासपुर से मनाली और फिर लेह की पूरी दूरी तकरीबन 500 किलोमीटर है. हिमालय की ऊंची-ऊंची चोटियों को पार करती हुई ये रेलवे लाइन दुनिया के सबसे ऊंचे इलाकों से होकर गुजरेगी. इस परियोजना पर तकरीबन 50,000 करोड़ रुपये का खर्चा आने का अनुमान है. बिलासपुर मंडी मनाली लेह रेलवे लाइन की फीजिबिलिटी रिपोर्ट पहले ही तैयार हो चुकी है. इस रेलमार्ग का सर्वे किया जा चुका है. सर्वे नीति आयोग के पास भेजा जा चुका है. अब फाइनल लोकेशन सर्वे का काम शुरू किया जाना है. ऐसा माना जा रहा है कि बिलासपुर-मंडी-मनाली-लेह रेलवे लाइन मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक है. सामरिक महत्व के चलते हर मौसम में लेह-लद्दाख को कनेक्टिविटी देने के इरादे से रक्षा मंत्रालय भी इस प्रोजेक्ट के जल्द से जल्द शुरू किए जाने के पक्ष में है. जानकारों का कहना है कि अभी इस योजना की लगात कितनी लगेगी इसपर सही- सही बोल पाना फाइनल लोकेशन सर्वे के बाद ही संभव हो पाएगा. लेकिन एक मोटे अनुमान के मुताबिक लेह-मनाली-बिलासपुर रेललाइन बनने में तकरीबन 50,000 करोड़ रुपये की लागत आएगी.

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रेलमार्ग के जरिए लेह को श्रीनगर से जोड़ने की योजना
केंद्र सरकार लेह को मनाली से जोड़ने की महत्वाकांक्षी योजना के साथ-साथ लेह को श्रीनगर से भी रेलमार्ग के जरिए जोड़ने की योजना पर काम कर रही है. श्रीनगर से जोजिला पास होते हुए कारगिल और लामायुरू से लेह तक रेलवे लाइन बिछाने के लिए फाइनल लोकेशन सर्वे पर जल्द ही काम शुरू किए जाने की संभावना है. इस योजना के तहत रेलवे के लिए तीन साल की डेडलाइन तय कर दी गई है. उसके बाद लेह तक रेलवे लाइन बिछाने के काम को तेजी से शुरू कर दिया जाएगा.

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