
आम नागरिकों और सरकार के लिए भी फायदेमंद माना जाने वाला गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (जीएसटी) संशोधन बिल बुधवार को राज्यसभा में पास हो गया. ऊपरी सदन में करीब 8 घंटे की लंबी चर्चा के बाद देर शाम बिल पर वोटिंग हुई. संशोधन बिल के पक्ष में 203 वोट पड़े, जबकि जयललिता की पार्टी एआईएडीएमके ने वोटिंग में हिस्सा नहीं लिया.
बिल के पास होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर सभी दलों और उनके सदस्यों को धन्यवाद कहा. वहीं वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बिल के पास होने के बाद केक काटकर खुशियां मनाई. इससे पहले उन्होंने ही संशोधित बिल को सदन के पटल पर रखा था. उन्होंने जीएसटी को बीते एक दशक का सबसे महत्वपूर्ण कर सुधार करार दिया.
जेटली ने बताया कि जीएसटी से भारत एक समान मार्केट में बदल जाएगा. उन्होंने कहा कि राज्यसभा ने जीएसटी बिल को सिलेक्ट कमेटी को सौंपा था. ज्यादातर दलों में इस बिल को लेकर सहमति बन गई है. उन्होंने कहा कि इससे देश में बड़ा बदलाव आएगा. जेटली ने कहा कि वे सभी पार्टियों के आभारी हैं. इतना ही नहीं जेटली ने कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजद का भी शुक्रिया अदा किया.
दूसरी तरफ तमिलनाडु की सीएम जयललिता की पार्टी AIADMK ने जीएसटी बिल में 6 संशोधन करने का प्रस्ताव देने का फैसला किया है.
गुलाम नबी ने कहा- सरकार की मदद करेंगे
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा था कि वे जीएसटी पर सरकार की मदद करेंगे. आजाद ने कहा था कि उनकी पार्टी और नेताओं ने जो संशोधन सुझाए थे, उसे बिल में शामिल कर लिया गया है. इसलिए अब वे इसका समर्थन करेंगे.
चिदंबरम ने कहा- 'स्वागत करते हैं'
पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम कांग्रेस की तरफ से राज्यसभा में जीएसटी बिल पर अपना पक्ष रख रहे थे. उन्होंने कहा कि वे इस बिल का स्वागत करते हैं. उन्होंने कहा कि बीते कुछ हफ्तों में बिल को लेकर सरकार के रुख में बदलाव आया है. इसलिए कांग्रेस इस बिल का स्वागत करती है.
जीएसटी लागू होने पर पूरे देश में एक टैक्स नियम लागू हो जाएगा. फिलहाल लोगों को 30 से 35 प्रतिशत तक टैक्स भरना पड़ता है. लेकिन जीएसटी लागू हो जाने से लोगों को लगभग इसका आधा यानी 17 से 18 फीसदी तक ही टैक्स देना पड़ेगा. जीएसटी लागू हो जाने से एक्साइज टैक्स, सर्विस टैक्स, वैट, सेल्स टैक्स, एंटरटेनमेंट टैक्स और लग्जरी टैक्स खत्म हो जाएगा.
इन बड़े बदलावों के बाद कांग्रेस की मदद की उम्मीद
1. राज्यों के बीच होने वाले कारोबार में एक प्रतिशत एडिश्नल टैक्स नहीं लगेगा.
2. राज्यों को अगर जीएसटी से नुकसान होगा तो केंद्र सरकार 5 साल तक 100 प्रतिशत मुआवजा देगी.
ऐसे बनेगा कानून
जीएसटी विधेयक बीते साल लोकसभा में पारित हो चुका है. अब राज्यसभा में पास होने के बाद भी इसे कम से कम 15 राज्यों की विधानसभाओं की मंजूरी चाहिए. यह मंजूरी मिलने के बाद बिल को राष्ट्रपति के पास भेजा जाएगा. राष्ट्रपति के हस्ताक्षर के बाद यह विधेयक कानून बन जाएगा. हालांकि इसके बाद केंद्र सरकार को केंद्र और राज्य के लिए जीएसटी से जुड़े कानून बनाने होंगे.
वाजपेयी सरकार ने रखी थी जीएसटी की नींव
गौरतलब है कि जीएसटी की नींव 16 बरस पहले वाजपेयी सरकार ने डाली थी. 360 डिग्री में घुमते हुए बुधवार को राज्यसभा में पास होने की उम्मीद है, क्योंकि 16 साल पहले वाजपेयी सरकार अल्पमत में थी तो पेश नहीं कर सकी और साल 2009 में मनमोहन सरकार ने कोशिश की, तो गैर-कांग्रेसी शासित राज्यों ने विरोध कर दिया. अब केंद्र और ज्यादातर राज्यों में बीजेपी की बहुमत वाली सरकारें हैं, तो राज्यसभा में कांग्रेस को साथ लेने के लिए मोदी सरकार अपने रुख थोड़े नरम किए. जिसके बाद कांग्रेस से सहमति बन गई.
आम आदमी को जीएसटी से फायदे की उम्मीद
एक देश एक टैक्स की सोच देश में लागू होते ही इसका फायदा हर व्यक्ति को मिलेगा. इसके लागू होते ही 20 से ज्यादा इनडायरेक्ट टैक्स खत्म होंगे और सिर्फ तीन तरह के (सेंट्रल, स्टेट और इंटिग्रेटेड जीएसटी) टैक्स ही लगेंगे. सेंट्रल जीएसटी टैक्स केंद्र सरकार वसूलेगी. स्टेट जीएसटी टैक्स राज्य सरकार वसूलेगी, और इंटिग्रेटेड जीएसटी को केन्द्र राज्य दोनों वसूलेंगे, क्योंकि ये दो राज्यों के बीच कारोबार होने पर लगेगा.
कुछ चीजें सस्ती होंगी तो कुछ महंगी भी
जाहिर है ये सवाल हर जहन में होगा कि जीएसटी लागू होने से क्या सस्ता और क्या महंगा होगा? रेस्तरां में खाना खाना, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स मसलन एयर कंडीशन, माइक्रोवेव, मशीनरी सामान और माल ढुलाई सस्ती होगी तो जबकि डिब्बा बंद फूड प्रोडक्ट्स, चाय, कॉफी, मोबाइल बिल, क्रेडिड कार्ड का बिल, ज्वेलरी और कपड़ा महंगा हो जाएगा.
जीएसटी लागू होने से ग्रोथ रेट में इजाफा संभव
जीएसटी लागू होने के बाद दो से तीन बरस तक महंगाई बढ़ भी सकती है. वैसे सरकार का दावा है कि जीएसटी लागू होने के बाद ग्रोथ रेट में 2% का इजाफा होगा. हालांकि सच यह भी है कि पूरी दुनिया में जीएसटी लागू करने के बाद हुए चुनावों में कोई भी सरकार दोबारा नहीं चुनी गई है, क्योंकि शुरुआती सालों में कुछ चीजें महंगी हो जाती हैं, इसका खमियाजा सरकार को भुगतना पड़ता है.