
मणिपुर के तमेंगलोंग जिले में उग्रवादी संगठन एनएससीएन के और जेडयूएफ के खिलाफ चलाए जा रहे ऑपरेशन से जुड़े एक मेजर बुधवार शाम को शहीद हो गए. शहीद मेजर अमित देशवाल का पार्थिव शरीर गुरुवार को हरियाणा के झज्जर स्थित उनके पैतृक घर लाया जाएगा.
सुबह ही एक उग्रवादी को किया था ढेर
इससे पहले मेजर ने बुधवार सुबह हुए मुठभेड़ में एक उग्रवादी को ढेर कर दिया था. शाम को दूसरे मुठभेड़ के वक्त उग्रवादियों की ओर से लगी दो गोली के बाद वह बुरी तरह घायल हो गए.
उन्हें जल्दी में अस्पताल ले जाया गया, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका.
मजबूती की मिसाल थे मेजर अमित देशवाल
मेजर अमित देशवाल ने साल 2006 के 10 जून को कमिशन हुए थे. उन्हें रोमांचक अभियानों की सफलता के बाद स्पेशल फोर्स के लिए चुना गया. और साल 2011 में उन्होंने इलाइट सर्विस
ज्वाइन कर लिया. शारीरिक तौर पर उनकी मजबूती घाटक कोर्स नाम के प्रशिक्षण में दिखी, जहां उन्हें कमांडो डैगर बेस्ट स्टूडेंट का सम्मान दिया गया था. इसके बाद उन्हें साल 2016 में दूसरे
चरण के ऑपरेशन हिफाजत में अहम जिम्मेदारी सौंपी गई थी.