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मोदी सरकार की पहली बड़ी परीक्षा, आज आ सकता है अविश्वास प्रस्ताव

एनडीए के सहयोगी दल बीजेपी से नाराज चल रहे हैं और अब वे सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश करने वाले हैं. ये दल टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस हैं. ये दोनों दल आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने मुद्दे पर सोमवार को केंद्र सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश करेंगे.

मोदी सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव मोदी सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव
भारत सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 18 मार्च 2018,
  • अपडेटेड 12:05 AM IST

2014 के लोकसभा चुनावों में एनडीए गठबंधन का सबसे बड़ा दल था और उसे भारतीय जनता पार्टी अकेले बहुमत से ज्यादा सीटें मिली थीं. अब आगामी आम चुनाव से एक साल पहले मोदी सरकार की पहली बड़ी परीक्षा होने वाली है.

एनडीए के सहयोगी दल बीजेपी से नाराज चल रहे हैं और अब वे सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश करने वाले हैं. ये दल टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस हैं. ये दोनों दल आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने मुद्दे पर सोमवार को केंद्र सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश करेंगे.

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वाईएसआर कांग्रेस के सांसद वाईवी सुब्बा रेड्डी ने अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस को सोमवार की कार्यवाही में शामिल करने के लिए लोकसभा सचिवालय को लिखा है. टीडीपी ने भी अविश्वास प्रस्ताव के लिए नोटिस दिया हुआ है. इससे पहले शुक्रवार को ये दोनों पार्टियां अविश्वास प्रस्ताव लाना चाहती थीं, लेकिन यह पेश नहीं हो सका था. इसके लिए संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने तर्क दिया था कि सदन में अव्यवस्था की स्थिति में अध्यक्ष ने अविश्वास प्रस्ताव खारिज कर दिया था.

आपको बता दें कि शुक्रवार को टीआरएस, एआईएडीएमके समेत अन्य पार्टियां कई मुद्दों पर सदन के वेल में आकर हंगामा कर रही थीं. हालांकि सोमवार को भी सदन व्यवस्थित रहेगा या नहीं, इसके बारे में अभी से कुछ नहीं कहा जा सकता है. बजट सत्र की शुरुआत से ही ये दल सदन में विरोध कर रहे हैं.

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वाईएसआर कांग्रेस ने अविश्वास प्रस्ताव दिया है. वहीं, आंध्र प्रदेश में सत्तारूढ़ टीडीपी भी इस मामले पर वाईएसआर के साथ आ गई है . आंध्र प्रदेश के सीएम चंद्रबाबू नायडू एनडीए से दोस्ती तोड़ने का ऐलान कर चुके हैं. उनके दो मंत्री कैबिनेट से इस्तीफा भी दे चुके हैं.

अविश्वास प्रस्ताव को पेश करने के लिए कम से कम 50 सांसदों का समर्थन हासिल होना चाहिए। कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, एसपी के अलावा लेफ्ट पार्टियों ने अविश्वास प्रस्ताव को समर्थन देने का ऐलान कर दिया है. हालांकि केंद्र सरकार को पूरा भरोसा है कि वह बहुमत साबित कर लेगी.

इस समय लोकसभा में 539 सांसद हैं. बहुमत साबित करने के लिए 270 सांसदों की जरूरत है. अकेले बीजेपी के पास 274 सांसद हैं. इसके अलावा बीजेपी को दूसरी पार्टियों का समर्थन भी हासिल है.

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