
राज्यसभा में शून्य काल के दौरान विपक्षी सांसद जमकर हंगामा करते रहे. ज्यादातर विपक्षी सांसद महात्मा गांधी को लेकर बीजेपी नेता अनंत कुमार हेगड़े की टिप्पणी पर माफी मांगने की मांग पर हंगामा करते रहे. चर्चा के दौरान सांसदों की ओर से नारेबाजी की जाती रही.
राज्यसभा में सांसदों की ओर से कई विषयों पर चर्चा की गई, लेकिन सिर्फ निर्भया मामले पर आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह की ओर से मुद्दा उठाए जाने के दौरान पूरा सदन खामोश रहा, लेकिन अन्य मुद्दों पर चर्चा के दौरान सांसद हंगामा करते रहे.
शून्य काल के दौरान दुनियाभर में दहशत फैलाने वाले कोरोना वायरस पर भी चर्चा की गई. केरल से सीपीआई सांसद बिनोय विस्वम जब कोरोना वायरस पर चर्चा कर रहे थे तब भी सांसद चुप नहीं रहे और हंगामा करते रहे. कुछ अन्य सांसदों ने भी कोरोना वायरस पर चर्चा की लेकिन कई सांसदों की ओर से हंगामा और नारेबाजी जारी रही.
चीन सरकार ने कोरोना वायरस के कारण अब तक 425 लोगों की मौत की पुष्टि कर चुकी है और उसके अनुसार, इससे संक्रमित लोगों की संख्या 20,438 तक पहुंच गई है. लेकिन इस गंभीर विषय पर चर्चा के दौरान भी सांसदों की ओर से हंगामा और नारेबाजी की जाती रही.
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हालांकि इसी शून्य काल के दौरान जब आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने निर्भया केस पर बोलना शुरू किया तो सदन में खामोशी छा गई.
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जल्द से जल्द हो दोषियों की फांसीः संजय सिंह
सांसद संजय सिंह ने कहा कि दिल्ली में 2012 में दिल दहलाने वाला कांड हुआ था. पूरा देश निर्भया को न्याय दिलाने को लेकर सड़क पर उतरा. लेकिन अब जो हो रहा है वो बेहद बुरा है. दोषियों को सजा मिलने के बाद भी उन्हें सजा नहीं पाई. सजा पर अमल के लिए तारीख पर तारीख दिए जा रहे हैं. सजा पर जल्द से जल्द अमल किया जाना चाहिए. इस पर राजनीतिक बयानबाजी बंद हो. दोषियों को जल्द से जल्द फांसी दी जाए.
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हालांकि संजय सिंह के इस बयान के बाद केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने निर्भया केस पर दोषियों की फांसी पर लटकाए जाने पर हुई देरी पर राज्य सरकार को दोषी माना. उन्होंने कहा कि जेल अधिकारियों को दोषियों को सूचित करने की प्रक्रिया को पूरा करने में एक साल से अधिक समय लग गया, जबकि उनकी अपील को सुप्रीम कोर्ट ने 2017 में खारिज कर दिया था. देरी के लिए राज्य सरकार दोषी है.