
केंद्र सरकार ने हज पर सब्सिडी तो खत्म कर दी है, लेकिन सच यह है कि इसी देश में तमाम राज्य सरकारें अजमेर से लेकर यरूशलम तक की तीर्थयात्रा के लिए सब्सिडी दे रही हैं. कैलाश मानसरोवर की यात्रा के लिए तो ज्यादातर सरकारें भारी सब्सिडी देती हैं. यही नहीं कई राज्य सरकारें सीनियर सिटीजन के लिए तीर्थस्थलों की मुफ्त यात्रा और कई अन्य सुविधाएं मुहैया कराती रही हैं. तीर्थयात्रियों के लिए पूरी ट्रेन रिजर्व करने का भी चलन है. इंडियन एक्सप्रेस की एक खबर के आधार पर आइए देखते हैं कि किन राज्यों में तीर्थयात्रियों को अब भी सब्सिडी या अन्य सुविधाएं दी जा रही हैं.
उत्तर प्रदेश: कैलाश मानसरोवर के लिए एक लाख रुपये
उत्तर प्रदेश सरकार कैलाश मानसरोवर यात्रा और सिंधु दर्शन यात्रा के लिए सब्सिडी देती है. सिंधु दर्शन के तहत 10,000 रुपये और कैलाश मानसरोवर के लिए एक लाख रुपये तक की सब्सिडी दी जाती है. पहले कैलाश मानसरोवर यात्रा के लिए 50 हजार की सब्सिडी मिलती थी, पिछले साल योगी सरकार ने इसे बढ़ाकर दोगुना कर दिया.
दिल्ली: वरिष्ठ नागरिकों की एसी बस में तीर्थयात्रा
दिल्ली सरकार ने भी हाल में मुख्यमंत्री तीर्थ यात्रा योजना को मंजूरी दी है. इस योजना के तहत हर विधानसभा से 1,000 वरिष्ठ नागरिकों को मुफ्त तीर्थयात्रा कराई जाएगी. इन नागरिकों को एसी बसों से मथुरा, वृंदावन, आगरा, नीलकंठ, हरिद्वार, वैष्णोदेवी जैसे कई तीर्थस्थानों की यात्रा कराई जाएगी. इसके तहत रहने, खाने और यात्रा का पूरा खर्च सरकार वहन करेगी.
मध्य प्रदेश: विदेश यात्रा पर भी सब्सिडी
साल 2012 में राज्य में मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना शुरू की गई थी. इसके तहत सीनियर सिटीजन को मुफ्त में तीर्थस्थलों की यात्रा कराई जाती है और हर साल करीब एक लाख लोगों को इसका लाभ मिलता है. सीनियर सिटीजन को बद्रीनाथ, केदारनाथ, जगन्नाथपुरी, वैष्णोदवी, अजमेर शरीफ आदि की यात्रा कराने के लिए विशेष ट्रेनों की व्यवस्था की जाती है. यही नहीं मध्य प्रदेश सरकार विदेश में तीर्थयात्रा पर भी 30,000 रुपये तक सब्सिडी देती है. इनमें मानसरोवर (चीन), ननकाना साहिब, हिंगलाज माता मंदिर (पाकिस्तान), अंगकोर वाट (कम्बोडिया), सीता माता मंदिर और अशोक वाटिका (श्रीलंका) शामिल हैं.
उत्तराखंड: वरिष्ठ नागरिकों के लिए तीर्थाटन
साल 2014 में तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने 'मेरे बुजुर्ग मेरे तीर्थ स्कीम' शुरू की थी, जिसके तहत वरिष्ठ नागरिकों को राज्य में ही गंगोत्रा, यमुनोत्री, बद्रीनाथ, पीरन कलियार दरगाह, रीठा मीठा साहिब आदि स्थानों की यात्रा कराई जाती है. साल 2017 में बीजेपी सरकार ने इस योजना का नाम बदलकर 'पंडित दीनदयाल उपाध्याय मातृ-पितृ तीर्थाटन योजना' कर दिया. यही नहीं राज्य का संस्कृति विभाग कैलाश मानसरोवर की यात्रा पर भी 30,000 रुपये तक की सब्सिडी देता है.
हरियाणा: सिंधु दर्शन यात्रा का लाभ
राज्य की मौजूदा बीजेपी सरकार ने हर साल 50 वरिष्ठ नागरिकों को सिंधु दर्शन यात्रा (10 हजार की सब्सिडी) और 50 अन्य तीर्थयात्रियों को कैलाश मानसरोवर यात्रा के लिए सब्सिडी (50 हजार रुपये) देने की योजना शुरू की है.
राजस्थान: प्लेन से तीर्थयात्रा की सुविधा
साल 2013 में कांग्रेस सरकार ने राज्य के वरिष्ठ नागरिकों की तीर्थयात्रा के लिए रेलवे किराया वहन करने की योजना शुरू की. इस योजना का हजारों लोग फायदा उठा चुके हैं. लेकिन पिछले साल बीजेपी सरकार ने इस योजना का नाम बदलकर 'दीनदयाल उपाध्याय वरिष्ठ नागरिक तीर्थ योजना' रख दी. सरकार ने इसमें 65 साल के ऊपर के लोगों के हवाई जहाज किराया देने की भी शुरुआत की. इस योजना पर राज्य सरकार अब तक 125 करोड़ रुपये से ज्यादा रकम खर्च कर चुकी है.
गुजरात: श्रवण तीर्थदर्शन योजना
गुजरात में साल 2001 से ही कैलाश मानसरोवर यात्रा योजना चल रही है. इस साल वहां सिंधु दर्शन और श्रवण तीर्थदर्शन योजना भी शुरू की गई है. कैलाश मानसरोवर की यात्रा के लिए 23,000 रुपये की सब्सिडी दी जाती है.
कर्नाटक: चार धाम की यात्रा पर सब्सिडी
कर्नाटक के लोगों को उत्तराखंड के चार धाम की यात्रा के लिए 20,000 रुपये की सब्सिडी दी जाती है. इसके अलावा मानसरोवर यात्रा के लिए भी 30,000 रुपये की सब्सिडी दी जाती है. साल 2017 में राज्य के पर्यटन विभाग ने पुनीत यात्रे नामक एक योजना शुरू की है जिसके तहत सभी समुदायों के लोगों की तीर्थयात्रा पर 25 फीसदी तक सब्सिडी दी जाती है.
तमिलनाडु: येरुशलम की यात्रा के लिए सब्सिडी
तमिलनाडु में तो ईसाइयों को येरुशलम की यात्रा के लिए भी सब्सिडी दी जाती है. इसके अलावा हिंदुओं को मानसरोवर और मुक्तिनाथ यात्रा के लिए सब्सिडी मिलती है. येरुशल के लिए 20,000, मुक्तिनाथ के लिए 10,000 और मानसरोवर के लिए 40,000 रुपये की सब्सिडी दी जाती है.
ओडिशा: वरिष्ठ नागरिकों का ख्याल
राज्य सरकार ने साल 2016 में वरिष्ठ नागरिक तीर्थयात्रा योजना शुरू की. इसके तहत बीपीएल श्रेणी के वरिष्ठ नागरिकों को 100 फीसदी और गैर बीपीएल यात्रियों को उम्र के मुताबिक 50 से 70 फीसदी तक की टिकट में रियायत दी जाती है.
असम: बस यात्रा पर सब्सिडी
असम की तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने साल 2004-05 में वरिष्ठ नागरिकों के लिए धर्मज्योति योजना शुरू की. इसके तहत विभिन्न तीर्थस्थलों की बस यात्रा पर 50 फीसदी तक सब्सिडी दी जाती है. मौजूदा बीजेपी सरकार ने साल 2017 में पुण्यधाम यात्रा योजना शुरू की. इसके तहत 3,000 तीर्थयात्रियों को हर साल जगन्नाथ मंदिर, वृंदावन, अजमेर शरीफ, मथुरा और वैष्णोदेवी की यात्रा कराई जाती है.