
अंडरवर्ल्ड सरगना इकबाल मिर्ची से व्यावसायिक संबंधों को लेकर जांच के दायरे में आई कर्ज में डूबी कंपनी दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (DHFL) को लेकर यूपी की सियासत में उफान आ गया है. DHFL में यूपी सरकार ने बिजली कर्मचारियों के पीएफ का पैसा निवेश किया है. इसे लेकर कांग्रेस राज्य सरकार पर हमलावर है. बीजेपी का कहना है कि इस कंपनी में निवेश का रास्ता पूर्व सीएम अखिलेश यादव के शासन काल में खोला गया था. लेकिन उत्तर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने इसे झूठ बता रहे हैं. उन्होंने कहा कि 24 मार्च को डीएचएफएल में पहली बार पैसा जमा किया था और तब प्रदेश के मुख्यमंत्री आदित्यनाथ योगी थे और श्रीकांत शर्मा ऊर्जा मंत्री थे.
दस्तावेज सार्वजनिक करे सरकार
सोमवार को अजय कुमार लल्लू ने ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा और सीएम योगी आदित्यनाथ पर एक के बाद एक कई सवाल दागे. लल्लू ने कहा कि भाजपा सरकार लगातार प्रदेश की जनता से झूठ बोल रही है, ताकि उसका भ्रष्टाचार छुप सके. अजय कुमार लल्लू ने पूछा कि सरकार बताए कि डीएचएफएल मे निवेश की अनुमति कब दी गई ? कब हस्ताक्षर किया गया? मार्च 2017 के बाद से दिसंबर 2018 तक किन किन तारीखों मे निवेश किया?
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ऊर्जा मंत्री पर कांग्रेस के आरोप
उन्होंने मांग की है कि अब तक DHFL से हुए पत्राचार, डीएचएफएल की ओर से कौन लोग बात कर रहे थे? इसे सार्वजनिक किया जाए. प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने कहा कि हजारों करोड़ रुपये के संदिग्ध सौदे छोटे स्तर के अधिकारी कैसे कर लेते हैं और बिजली मंत्री को इसकी खबर भी नहीं होती है. अजय कुमार लल्लू ने आरोप लगाया कि सरकार ने हजारों करोड़ रुपये दाऊद इब्राहिम और इकबाल मिर्ची से जुड़ी कंपनियों को दिया है. अजय कुमार लल्लू के मुताबिक DHFL की ओर से डील करनेवाला अमित प्रकाश अब तक पकड़ा नहीं गया है. यह अमित प्रकाश ऊर्जा मंत्री और उनके रिश्तेदारों से कब कब मिला? इसकी भी जांच की जाए.
माफी मांगें अजय कुमार लल्लू-श्रीकांत शर्मा
अजय कुमार लल्लू के आरोपों के बाद बीजेपी और ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा आग बबूला हैं. समाचार एजेंसी आईएएनएस के मुताबिक उन्होंने कहा है कि अजय कुमार लल्लू या तो अपने बयानों के लिए माफी मांगें, अन्यथा आपराधिक मानहानि का मुकदमा झेलने के लिए तैयार रहें. श्रीकांत ने सोमवार को जारी एक बयान में कहा, "उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय कुमार 'लल्लू' द्वारा उनके ऊपर लगाए गए निजी आरोप मनगढ़ंत, तथ्यों से परे और शर्मनाक हैं. उन्हें अपने इन निंदा योग्य आरोपों पर अविलंब माफी मांगनी चाहिए, नहीं तो वह आपराधिक मानहानि का मुकदमा झेलने के लिए तैयार रहें."
ऊर्जा मंत्री ने कहा, "लल्लू ने मीडिया की सुर्खियों में बने रहने के लिए निजी आरोप गढ़े और आरोपित किए हैं. उनके ये आरोप पूरी तरह मनगढ़ंत, तथ्यों से परे हैं. वह राहुल गांधी की तरह बर्ताव कर रहे हैं, जिन्होंने भी कई नेताओं पर झूठे आरोप लगाए और आज अदालतों के चक्कर लगा रहे हैं. उनके इस कृत्य से उन्हें सूक्ष्म प्रसिद्धि तो जरूर मिल सकती है, लेकिन उनका यह आचरण सार्वजनिक जीवन की मर्यादा के विपरीत है."
ऊर्जा मंत्री ने कहा कि डीएचएफएल मामले में निवेश का रास्ता कांग्रेस परिवार के प्रिय मित्र अखिलेश यादव के समय ही खोला गया है. बिजली मंत्री ने कहा कि जैसे ही ये मामला संज्ञान में आया उन्होंने स्वयं मामले की सीबीआई जांच के लिए मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर जांच कराने का अनुरोध किया. बता दें कि अब इस मामले की जांच CBI करेगी.