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बांग्लादेशः 1971 के युद्ध अपराधों में निजामी को जल्द हो सकती है फांसी

बांग्लादेश में कट्टरपंथी संगठन जमात-ए-इस्लामी के प्रमुख और 1971 के युद्ध अपराधों के अभियुक्त मोतिउर रहमान निजामी को उपनगरीय जेल से ढाका सेन्ट्रल जेल भेजा गया है. ऐसा माना जा रहा है कि उन्हें मिली फांसी की सजा की तामील जल्द हो सकती है.

निजामी को युद्ध अपराधी के रूप में फांसी सुनाई गई है निजामी को युद्ध अपराधी के रूप में फांसी सुनाई गई है
परवेज़ सागर/BHASHA
  • ढाका,
  • 10 मई 2016,
  • अपडेटेड 2:27 PM IST

बांग्लादेश में कट्टरपंथी संगठन जमात-ए-इस्लामी के प्रमुख और 1971 के युद्ध अपराधों के अभियुक्त मोतिउर रहमान निजामी को उपनगरीय जेल से ढाका सेन्ट्रल जेल भेजा गया है. ऐसा माना जा रहा है कि उन्हें मिली फांसी की सजा की तामील जल्द हो सकती है.

ढाका जेल के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि उच्चतम न्यायालय के फैसले की तामील की प्रक्रिया के तहत बीती रात निजामी को ढाका जेल लाया गया है. उन्होंने बताया कि बांग्लादेश की सबसे बड़े इस्लामवादी पार्टी के 73 वर्षीय वरिष्ठ नेता को ‘प्रक्रिया के अनुसार’ जेल के एक अलग-थलग सेल में रखा गया है.

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हालांकि, जेल के अधिकारी अभी तक उच्चतम न्यायालय के निर्णय की कॉपी मिलने का इंतजार कर रहे है. जो कि उन्हें अभी तक नहीं मिली है. कॉपी मिलने के बाद ही तस्वीर साफ हो पाएगी.

बांग्लादेश के गृह मंत्री असदुज्जमां कमाल ने ‘पीटीआई भाषा’ को बताया कि वे आपको यह नहीं बता सकते कि फांसी कब दी जाएगी लेकिन वह कहना चाहते हैं कि सभी कानूनी प्रक्रियाओं के पूरा होने के बाद फैसला लिया जाएगा.

गौरतलब है कि पाकिस्तान के खिलाफ 1971 में हुए मुक्ति संग्राम के दौरान युद्ध अपराधों के लिए मिली मौत की सजा पर निजामी की अंतिम अपील को उच्चतम न्यायालय ने पांच मई को खारिज कर दिया था.

इसके बाद सोमवार के दिन निजामी को काशिमपुर सेन्ट्रल जेल से एक विशेष कैदी वैन से राजधानी ढाका लाया गया. इस दौरान उसकी सुरक्षा के लिए भारी संख्या में पुलिस बल वाहनों में साथ चल रहा था.

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बताते चलें कि निजामी एक पूर्व सांसद है और पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया की कैबिनेट में मंत्री भी रह चुके हैं. वह 2010 से जेल में बंद हैं. उन्हें फांसी की सजा सुनाई गई है.

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