
वर्ल्ड मेंटल हेल्थ डे के मौके पर दीपिका पादुकोण ने ट्विटर पर वीडियो के जरिए लोगों से डिप्रेशन को गंभीरता से लेने की हिदायत दी. साथ ही उन्होंने खुद से जुड़ा भी एक वाक्या शेयर किया जब वे डिप्रेशन से ग्रस्त थीं.
दीपिका ने कहा- साल 2014 में डिप्रेशन का शिकार हुईं थीं. भारत में डिप्रेशन का शिकार हुए 90 प्रतिशत लोग इसे गंभीरता से नहीं लेते हैं और इलाज नहीं कराते हैं. मैं भी डिप्रेशन का शिकार रह चुकी हूं और मैं इस दौरान काफी डरी-डरी सी रहती थी.
दीपिका ने आगे शेयर किया कि वे इससे बाहर निकलने के लिए सोने का सहारा लेती थीं. उनके पेट में हमेशा एक डर सा बना रहता था. उनका मन हमेशा विचलित रहता था. उन्हें लगता था कि इन सब से बाहर निकलने का बेहतर रास्ता ज्यादा से ज्यादा सोना ही है. मुझे पता था कि मैं कैसा फील कर रही हूं मगर मैं इसे किसी से शेयर नहीं कर पाती थी.
अपनी भावनाओं को जाहिर करने के बाद दीपिका ने डिप्रेशन से ग्रस्त रह चुके सभी लोगों से गुजारिश की है कि वे इस बीमारी को लेकर अपने अनुभव साझा करें और इसके साथ # Not Ashamed भी लिखें. साथ ही जो लोग इस बीमारी से ग्रस्त हैं उन्हें इससे बाहर निकलने में मदद करें.