
ईवीएम संग छेड़खानी के मुद्दे पर प्रेस कांफ्रेंस में अरविंद केजरीवाल ने एक बार फिर चुनाव आयोग पर जमकर निशाना साधा और निष्पक्ष वोटिंग के लिए पेपर बैलेट का इस्तेमाल करने की सलाह दी. प्रेस कांफ्रेस में केजरीवाल ने कहा, "ये मशीन बहुत बड़ा सवाल खड़ा करती है. सवाल ये है कि गोविंदनगर से ही मशीनें क्यों भेजी गई."
केजरीवाल ने ईवीएम पर निशाना साधते हुए कहा कि, पहले बटन दबाने पर बीजेपी की लाइट जलती है. लेकिन अब ऐसे चेंज किया गया है कि लाइट तो वही जलेगी लेकिन वोट बीजेपी को जाएगा. बड़ा अजीब सॉफ्टवेयर इस्तेमाल किया जा रहा है.
केजरीवाल के मुताबिक, भिंड में पकड़ी गई ईवीएम मशीन टेम्पर्ड थी. उनका कहना है, "भिंड भेजी गई ईवीएम मशीन का इस्तेमाल उत्तर प्रदेश के चुनाव में हुआ था. मुझे पता चला है कि चुनाव आयोग ने ये मान लिया गया है. जबकि कानून कहता है कि मशीनों को आप 45 दिन तक हटा नहीं सकते."
केजरीवाल ने चुनाव आयोग पर निशाना साधते हुए कहा, "चुनाव आयोग पर सवाल खड़े होते हैं. चुनाव आयोग सॉफ्टवेयर का नाम बताए. हमने चिट्टी लिखी है कि हमारे पास सॉफ्टवेयर एक्सपर्ट हैं जो आपको बता देंगे कि इसमें सॉफ्टवेयर कौन सा है. सॉफ्टवेयर में बग भी डाल दिया गया है."
निष्पक्ष चुनावों की खातिर केजरीवाल ने एक बार फिर कहा कि पेपर बैलेट ही एक मात्र उपाय है. इसके अलावा केजरीवाल ने चुनाव आयोग को चैलेंज किया है कि वो अपने अधिकारी की निगरानी में उन्हें ईवीएम दें.
आप नेता मनीष सिसोदिया ने भी केजरीवाल की बात का समर्थन करते हुए कहा कि चुनाव आयोग इस बात की समीक्षा करे कि 45 दिनों के भीतर MP में EVM कैसे भेज दी गई. इसके अलावा चुनाव आयोग इस बात की समीक्षा भी करे कि सभी वोट बीजेपी को क्यों पड़ रहे हैं.
भिंड के वायरल वीडियो की बात दोहराते हुए सिसोदिया ने कहा, "चुनाव अधिकारी पत्रकारों को थाने में भेजने की बात कर रहे हैं. पेपर बैलेट के अलावा कोई चारा नहीं दिख रहा है."
सिसोदिया ने भी केजरीवाल की बात का समर्थन करते हुए कहा, "सॉफ्टवेयर के अंदर बग डाल दिया गया है. चुनाव आयोग को चैलेंज करते हैं कि मशीन हमें मुहैया करा दें, हम बता देंगे कि EVM को टेम्पर्ड किया जा सकता है."