
जम्मू में सुरक्षाबलों को बड़ी सफलता हाथ लगी है. लश्कर-ए-तैयबा के 6 आतंकवादियों की गिरफ्तारी के बाद टेरर फंडिंग के मॉड्यूल का भंडाफोड़ हुआ है. 6 आतंकवादियों में से एक को पिछले महीने गिरफ्तार किया गया था और पूछताछ के दौरान उसके द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर अब 5 और आतंकवादियों को गिरफ्तार किया गया है.
19 जुलाई को जम्मू-कश्मीर पुलिस और सेना के स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) ने मुबाशिर फारूक बट्ट को पकड़ा था. उसके खिलाफ UAPA के तहत केस दर्ज किया था. अब जम्मू पुलिस के एसओजी ने लश्कर के पांच और आतंकवादियों को गिरफ्तार किया है. इनके नाम टकीर अहमद बट्ट, आसिफ बट्ट, खालिद लतीफ, गाजी इकबाल, तारिक हुसैन मीर हैं.
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पुलिस के बयान के अनुसार, सभी गिरफ्तार आतंकवादी अपने पाकिस्तानी हैंडलर मोहम्मद अमीन उर्फ हारून के संपर्क में थे. वो डोडा में लश्कर का कमांडर था. जम्मू जोन के पुलिस महानिरीक्षक (IGP) मुकेश सिंह ने कहा कि ये आतंकवादी जम्मू क्षेत्र में आतंकी गतिविधियों को पुनर्जीवित करने के लिए पाकिस्तान से फंड प्राप्त कर रहे थे.
वे ऐसे लोगों के माध्यम से धन प्राप्त करते हैं जो अपने रिश्तेदारों से मिलने के लिए वैध वीजा पर पाकिस्तान गए थे. बाद में वे बैग और टिफिन बॉक्स में छुपाए गए नकदी की खेप के साथ वाघा-अटारी सीमा के माध्यम से लौटे. पुलिस के मुताबिक, पकड़े गए आतंकवादियों को अलग-अलग माध्यमों से पाकिस्तान से 12 लाख रुपये से अधिक प्राप्त हुए. लश्कर ने अलग-अलग माध्यमों से उन्हें पैसे भेजा.
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जम्मू जोन के शीर्ष पुलिस अधिकारी ने यह भी कहा कि पकड़े गए आतंकवादियों ने उधमपुर में उत्तरी सेना कमान सहित कुछ महत्वपूर्ण रक्षा प्रतिष्ठानों की रेकी भी की. इन आतंकवादियों का उद्देश्य जम्मू क्षेत्र में आतंकवाद को पुनर्जीवित करना था. उन्होंने उधमपुर में उत्तरी सेना कमान, नगरोटा और उरी में रक्षा प्रतिष्ठानों की रेकी भी की.