
मुंबई हमलों की सुनवाई कर रही पाकिस्तान की आतंकवादी रोधी कोर्ट ने आखिरकार पाकिस्तानी गवाहों के बयान दर्ज कर लिए हैं. भारत में पिछले 6 सालों से इस मामले पर सुनवाई चल रही है.
5 गवाह भगोड़े घोषित
रावलपिंडी में अदियाला जेल के अंदर कड़ी सुरक्षा के बीच आतंकवादी रोधी कोर्ट (एटीसी) में अंतिम गवाहों के बयान दर्ज किए गए. पांच गवाहों ने कोर्ट के बार-बार समन जारी करने के बावजूद अपने बयान दर्ज नहीं कराए. कोर्ट ने उन्हें भगोड़ा घोषित कर दिया.
भारतीय गवाहों के बयान का इंतजार
अभियोजन पक्ष के वकील ने कहा, 'मुंबई केस में सभी पाकिस्तानी गवाहों ने अपने बयान दर्ज करा दिए हैं. अब सिर्फ भारतीय गवाहों के बयान दर्ज करने बाकी हैं.' उन्होंने बताया कि भारतीय गवाहों के बयान दर्ज होने के बाद केस खत्म हो जाएगा.
भारतीय गवाहों के पेश करने का आदेश
अभियोजन पक्ष के वकील ने कहा कि फेडरल इंवेस्टिगेशन एजेंसी(एफआईए) ने बुधवार को ट्रायल कोर्ट को बताया कि गृह मंत्रालय ने 24 भारतीय गवाहों को समन भेजकर बयान दर्ज कराने को लेकर विदेश मंत्रालय को पत्र लिखा था. कोर्ट ने केस की सुनवाई 2 मार्च तक टाल दी है. पिछली सुनवाई में कोर्ट ने एफआईए को आदेश दिया था कि वो 24 भारतीय गवाहों को बयान दर्ज कराने के लिए कोर्ट में पेश करे. भारतीय गवाहों के बयान मुकदमे में सबूत के तौर पर इस्तेमाल किया जाना है.
हमलों में इस्तेमाल नाव लाने के आदेश
इसके अलावा कोर्ट ने पाकिस्तानी नाव को वापस लाने का भी आदेश दिया था, जिसका इस्तेमाल अजमल कसाब और बाकी आतंकियों ने मुंबई पहुंचने के लिए किया था. ये नाव इस केस की प्रॉपर्टी है और उसकी करने की जरूरत है. अदालत मुंबई हमले के सरगना और लश्कर ए तैयबा के अभियान कमांडर जकीउर रहमान लखवी सहित सात आरोपियों के खिलाफ मुकदमे की सुनवाई कर रही है.