Advertisement

बिहार: कॉलेज से निकाले गए 60 दलित छात्रों ने दी आत्महत्या की धमकी

साल 2014 में बिहार सरकार की दलित छात्रवृत्ति योजना के तहत 60 छात्रों ने भुवनेश्वर के राजधानी इंजीनियरिंग कॉलेज में एडमिशन लिया था. इनमें से 18 छात्र मोतिबारी के हैं, जबकि 42 छात्र बेतिया जिले के हैं.

ब्रजेश मिश्र/रोहित कुमार सिंह
  • पटना,
  • 02 फरवरी 2016,
  • अपडेटेड 10:10 PM IST

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार दावा करते हैं कि उनकी सरकार गरीबों और दलितों के हितों पर पूरा ध्यान दे रही है लेकिन हाल ही में जो कुछ सामने आया है वो इसके ठीक विपरीत है. राज्य के 60 दलित छात्रों ने आत्महत्या की धमकी दी है. भुवनेश्वर स्थित राजधानी इंजीनियरिंग कॉलेज में पढ़ने वाले इन सभी छात्रों ने कॉलेज और हॉस्टल से निकाले जाने के बाद सरकार को यह चेतावनी दी है.

Advertisement

बताया जा रहा है कॉलेज प्रशासन की ओर से लगातार कई बार नोटिस दिए जाने के बाद भी बिहार सरकार उनकी फीस नहीं भर पाई, जिसकी वजह से कॉलेज ने उन्हें बाहर कर दिया. राज्य के मोतिहारी और बेतिया जिले में रहने वाले ये छात्र अब अपने घरों को वापस लौट आए हैं.

डेढ़ साल से सरकार ने नहीं दिया एक पैसा
साल 2014 में बिहार सरकार की दलित छात्रवृत्ति योजना के तहत 60 छात्रों ने इंजीनियरिंग कॉलेज में एडमिशन लिया था. इनमें से 18 छात्र मोतिबारी के हैं, जबकि 42 छात्र बेतिया जिले के हैं. एडमिशन लेने के दो साल बाद नौबत ये आई है कि छात्रों ने आत्महत्या की धमकी दी है. बीते डेढ़ साल से बिहार सरकार ने इन छात्रों को दी जानी वाली रकम जारी नहीं की जिसकी वजह से कॉलेज प्रशासन ने उन्हें बाहर कर दिया.

Advertisement

हर छात्र को दिए जाने हैं 110000 रुपये
छात्रों का कहना है कि बिहार सरकार ने उनकी अनदेखी की है. कॉलेज प्रशासन ने करीब एक साल तक उनका पढ़ने और रहने-खाने का खर्च उठाया लेकिन उसके बाद हाथ खड़े कर लिए. बिहार सरकार की योजना के मुताबिक, इन छात्रों को हर साल एक लाख 10 हजार रुपये दिए जाने थे.

कॉलेज से निकाले गए छात्र लोकनाथ ने कहा, 'सरकार पैसे नहीं दे रही है. हमारी पढ़ाई ठप हो गई, अब आत्महत्या के अलावा कोई और उपाय नहीं है हमारे पास.'

'नहीं भर पाए सेमेस्टर एग्जाम के फॉर्म'
छात्रा पूजा कुमारी ने कहा, 'हमने शुरुआत में 6000 रुपये फीस भरी है. कॉलेज प्रशासन ने कई बार हमें कहा कि बकाया पैसा जमा करो या घर जाओ. हम गरीब हैं. 60 लोगों को कॉलेज ने बाहर कर दिया है. हमने अगले सेमेस्टर एग्जाम के फॉर्म नहीं भरे हैं. बिहार सरकार सभी छात्रों को मिलने वाली रकम रोके हुए है.'

मंत्री ने कहा- छात्रों के अकाउंट नंबर में गड़बड़ी
मामले पर जब बिहार सरकार से सवाल किया गया तो सरकार ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए कहा कि पैसा जारी करने में थोड़ी देरी हुई है लेकिन जल्द ही प्रमुखता के साथ मामले को सुलझाने की कोशिश की जा रही है. डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने छात्रों से ऐसा कोई भी कदम ना उठाने की अपील की है. वहीं, एससी-एसटी मिनिस्टर संतोष निराला ने कहा कि पैसे भेजने में देरी इसलिए हुई क्योंकि छात्रों की ओर से दिए गए बैंक अकाउंट में गड़बड़ी थी.

Advertisement

'सुसाइड करने से किसी का भला नहीं'
डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने कहा, 'मैं अधिकारियों से बात करूंगा. मुझे मीडिया के जरिए यह मामला पता चला है. छात्रों को सुसाइड नहीं करना चाहिए, इससे किसी का भला नहीं होने वाला. मैं जल्द ही मामले को सुलझाने की कोशिश करूंगा.'

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement