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बीजिंग में वायु प्रदूषण को लेकर RED अलर्ट जारी, स्कूलों को बंद करने का निर्देश

चीन की राजधानी बीजिंग ने खतरनाक स्तर तक पहुंचे वायु प्रदूषण को लेकर सोमवार को वर्ष का पहला ‘रेड अलर्ट’ जारी किया है.

बीजिंग के आसमान में फैली धुंध की मोटी चादर बीजिंग के आसमान में फैली धुंध की मोटी चादर
स्‍वपनल सोनल
  • बीजिंग,
  • 07 दिसंबर 2015,
  • अपडेटेड 1:40 PM IST

चीन की राजधानी बीजिंग ने खतरनाक स्तर तक पहुंचे वायु प्रदूषण को लेकर सोमवार को वर्ष का पहला ‘रेड अलर्ट’ जारी किया है. चेतावनी जारी होने के साथ ही अधिकारियों ने स्कूलों को बंद करने और विशेष प्रकार के वाहनों और फक्ट्रियों पर प्रतिबंध लगाने का आदेश जारी किया है.

बीजिंग की जनसंख्या फिलहाल 2.2 करोड़ से ज्यादा है और यह धुंध की मोटी चादर की तह में छुपा हुआ है. आने वाले महीनों में स्थिति और खराब होने की आशंका है. सरकारी संवाद समिति शिन्हुआ की खबर के मुताबिक, बीजिंग ने वायु प्रदूषण संबंधी अलर्ट को ‘नारंगी’ रंग से बढ़ाकर सबसे अधि‍क स्तर लाल कर दिया है. ऐसा पहली बार हुआ है जब राजधानी में ‘रेड अलर्ट’ जारी किया गया है, जो मंगलवार को सुबह सात बजे से बृहस्पतिवार को दोपहर 12 बजे तक रहेगा.

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शहर के आपात प्रबंधन मुख्यालय ने बताया, ‘रेड अलर्ट के दौरान किंडर गार्डन, प्राइमरी और हाई स्कूलों को कक्षाएं निलंबित करने का निर्देश दिया गया है. विनिर्माण स्थलों पर बाहरी गतिविधियों को प्रतिबंधित कर दिया गया है. कुछ औद्योगिक इकाइयों को उत्पादन नियंत्रित करने या बंद करने को कहा गया है.'

सरकारी कारों पर भी होगा प्रतिबंध
पिछले सप्ताह कई दिनों तक धुंध के घने बदलों के बाद जारी इस नोटिस में विशेष वाहनों पर प्रतिबंध भी लगाया गया है. बयान के मुताबिक, इस दौरान कारों का उपयोग भी कम होगा. कारों को एक दिन के अंतर पर, उनके सम-विषम नंबर प्लेटों के आधार पर सड़क पर आने की अनुमति होगी. इसके अलावा सम-विषम के आधार पर 30 फीसदी सरकारी कारों के सड़कों पर आने पर प्रतिबंध होगा.

बीजिंग म्युनिसिपल एंवायरमेंट मॉनिटरिंग सेंटर के मुताबिक, यह भयंकर वायु प्रदूषण गुरुवार तक रहेगा. बृहस्पतिवार की दोपहर ठंड बढ़ने के साथ इसके कम होने की संभावना है.

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बीजिंग स्थित अमेरिकी दूतावास का वायु गुणवत्ता अलर्ट के अनुसार, पीएमआई 256 से ज्यादा है, जो स्वास्थ्य के लिए बहुत हानिकारक है. इससे हृदय और फेफड़े संबंधी बीमारियां हो सकती हैं और सामान्य लोगों को सांस संबंधी दिक्कतें पैदा हो सकती हैं.

-इनपुट भाषा से

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