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नेपाल में आज लागू होगा नया संविधान

पड़ोसी देश नेपाल का नया संविधान आज से लागू हो रहा है. यह नया संविधान अंतरिम संविधान 2007 की जगह लेगा. नेपाल में संविधान से संबंधित चल रहे घटनाक्रम पर नजर गड़ाए हुए भारत ने नेपाल के संविधान निर्माण का पूरी तरह समर्थन किया है.

नेपाल का राष्ट्रपति भवन नेपाल का राष्ट्रपति भवन
aajtak.in
  • काठमांडू,
  • 20 सितंबर 2015,
  • अपडेटेड 8:25 PM IST

पड़ोसी देश नेपाल का नया संविधान आज से लागू हो रहा है. यह नया संविधान अंतरिम संविधान 2007 की जगह लेगा. नेपाल में संविधान से संबंधित चल रहे घटनाक्रम पर नजर गड़ाए हुए भारत ने नेपाल के संविधान निर्माण का पूरी तरह समर्थन किया है.

विदेश सचिव एस जयशंकर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विशेष दूत के रूप में नेपाल का दो दिन का दौरा किया. जयशंकर ने कहा कि संविधान का पूरा होना खुशी और संतुष्टि का अवसर होना चाहिए कि न कि आंदोलन और हिंसा का. विदेश सचिव ने नेपाल के तीन बड़े दलों को मधेसी और थारु समेत सभी समुदायों को स्वीकार्य होने वाला संविधान बनाने का आग्रह किया है.

अपने दौरे में विदेश सचिव ने मधेसी दलों से भी मुलाकात की. उन्होंने मधेसी हितों को लेकर स्पष्ट समर्थन व्यक्त किया. विदेश सचिव से मुलाकात के बाद मधेसी काफी खुश नजर आ रहे हैं . जयशंकर ने राष्ट्रपति डॉ. रामबरन यादव, प्रधानमंत्री सुशील कोइराला, एमाले अध्यक्ष केपी शर्मा ओली, पूर्व पीएम शेर वहादुर देउवा और मधेसी दलों से वार्ता की.

नेपाल के राष्ट्रपति रामबरन यादव खुद मधेसी हैं. वह संख्या बल के आधार पर मधेसी और थारु को पृथक रखते हुए जारी होने वाले संविधान के खिलाफ हैं. सूत्रों के मुताबिक राष्ट्रपति ने जयशंकर को साफ शब्दों में बताया कि बड़े दल ज्यादती कर के संख्या बल के आधार पर नेपाल के मधेसी और थारु को पृथक कर रहे हैं.

सद्भावना पार्टी के महासचिव और युवा नेता मनीष सुमन कहते हैं कि संविधान के मसले पर गेंद भारत के पाले में है. यह भारत पर निर्भर करता है कि वह भारत विरोधी मानसिकता वाले लोगों को खुश करना चाहता है या फिर रोटी और बेटी के संबंधों को बनाए रखना चाहता है.

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