
विधानसभा चुनाव से ठीक पहले सत्ताधारी जेडीयू के विधायक अनंत सिंह का नाम उन चार व्यक्तियों के अपहरण के मामले में आया है, जिनमें से एक की बाद में हत्या कर दी गई थी. करीब 100 पुलिस वाले पटना में सर्च वारंट के साथ अनंत सिंह के घर पहुंच गए हैं. पुलिस की टीम में एसएसपी विकास वैभव और करीब छह डीएसपी शामिल हैं.
मामले में विधायक का नाम आने के बारे में पटना के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जीतेंद्र राणा ने मोतिहारी के एसएसपी का पदभार संभालने से ठीक पहले जानकारी दी है. राणा का तबादला सोमवार रात हुए मामूली फेरबदल में मोतिहारी कर दिया गया है. उनकी जगह पटना में विकास वैभव को लाया गया है.
राणा ने बताया कि चार व्यक्तियों के अपहरण और इनमें से पवन यादव नामक व्यक्ति की हत्या के सिलसिले में 17 जून को चार व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया था. पटना के बाढ़ में गिरफ्तार इन लोगों ने पूछताछ में इस घटना के पीछे मोकामा के विधायक अनंत सिंह का हाथ बताया है.
मैंने तो लड़कों को ढूंढ़ने में मदद की: अनंत सिंह
दूसरी ओर, विधायक अनंत सिंह ने अपने ऊपर लगे सभी आरोपों को खारिज किया है. उन्होंने कहा, 'मुझे फंसाया गया है. मुझे इस बारे में पहले कोई जानकारी नहीं थी. मैं इनमें से किसी को नहीं जानता. एसएसपी को मुझसे कोई व्यक्तिगत दुश्मनी है. मैंने तो अगवा लोगों को ढूंढ़ने में मदद की थी.' अनंत सिंह ने कहा कि मामले में उनका कोई हाथ नहीं है और उनके राजनीतिक विरोधी उनके खिलाफ चाल चल रहे हैं.
जेडीयू ने किया बचाव
हत्या मामले में जेडीयू भी अनंत सिंह के बचाव में उतर आई है. पार्टी के प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि यह आरोप शुरुआती स्तर पर लगाए गए हैं. मामले में अभी जांच होनी है. जांच शुरू होने के बाद सभी आरोप गलत साबित होने वाले हैं. पुलिस को पहले अपनी छानबीन पूरी करनी चाहिए. किसी को भी कानून से खेलने का अधिकार नहीं है.
नीतीश सरकार की आलोचना
अनंत सिंह को जेडीयू के बाहुबली के तौर पर जाना जाता है, वहीं एसएसपी जीतेंद्र राणा के अचानक तबादले को लेकर विपक्ष नीतीश सरकार की आलोचना कर रहा है. जन अधिकार पार्टी के संस्थापक और मधेपुरा से सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने आरोप लगाया कि राणा को सिंह के प्रभाव के चलते पटना से हटाया गया.