
पटना में राष्ट्रीय जनता दल सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव और उनके परिवार का 750 करोड़ की लागत से बन रहे बिहार के सबसे बड़े मॉल के निर्माण कार्य पर ग्रहण लग गया है. पर्यावरण के नियमों का उल्लंघन करने के आरोप में केंद्र सरकार ने निर्माणाधीन मॉल के काम पर तुरंत रोक लगाने का आदेश दिया है.
बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी ने अप्रैल के महीने में सनसनीखेज खुलासा करते हुए आरोप लगाया था कि पटना के सगुना मोड़ इलाके में जो बिहार का सबसे बड़ा मॉल बन रहा है, वह लालू और उनके परिवार वालों की बेनामी संपत्ति है. 15 मई को जारी केंद्र द्वारा इस पत्र में बिहार सरकार को आदेश दिया गया है कि वह तुरंत मॉल के निर्माण के काम पर रोक लगाए.
गौरतलब है कि लालू प्रसाद और उनके परिवार वालों के निर्माणाधीन मॉल को लेकर सुशील मोदी ने कई खुलासे किए थे. मोदी का आरोप था कि यह संपत्ति लालू यादव की बेनामी है और इसका निर्माण पर्यावरण के नियमों की अनदेखी करते हुए किया जा रहा है.
मोदी ने कहा कि पिछले साल इस मॉल का निर्माण स्टेट इन्वायरमेंटल इंपैक्ट असेसमेंट अथॉरिटी की अनुमति के बिना शुरू कर दिया गया और जब यह पूरा मामला मीडिया में उजागर हो गया तो आनन-फानन में उपमुख्यमंत्री और लालू के छोटे बेटे तेजस्वी यादव ने पर्यावरण की मंजूरी के लिए 20 अप्रैल को अर्जी दाखिल की.
सुशील मोदी ने आरोप लगाया कि लालू जानते थे कि उनका बड़ा बेटा तेज प्रताप बिहार सरकार में वन एवं पर्यावरण मंत्री है और ऐसे में मॉल के लिए जरूरी पर्यावरण मंजूरी लेना उन्होंने जरूरी नहीं समझा और इसका उल्लंघन करते हुए मॉल के निर्माण का काम शुरू करा दिया.
मोदी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मांग किया कि पर्यावरण के नियमों का उल्लंघन करते हुए मॉल के निर्माण का काम शुरू करवाने के आरोप में लालू के दोनों बेटे तेजस्वी और तेज प्रताप के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करा उनके खिलाफ कार्यवाही की जानी चाहिए.