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वायुमार्ग के जरिए यमन में फंसे भारतीयों का निकालने का काम शुरू

भारत ने गुरुवार को युद्ध प्रभावित यमन से अपने नागरिकों को वायुमार्ग से निकालने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. इस कार्य के लिए भारत का पहला एयर इंडिया का विमान यमन के सबसे बड़े शहर में फंसे लोगों को निकालने के लिए सना पहुंचा.

फाइल फोटो फाइल फोटो
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 03 अप्रैल 2015,
  • अपडेटेड 5:13 PM IST

भारत ने गुरुवार को युद्ध प्रभावित यमन से अपने नागरिकों को वायुमार्ग से निकालने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. इस कार्य के लिए भारत का पहला एयर इंडिया का विमान यमन के सबसे बड़े शहर में फंसे लोगों को निकालने के लिए सना पहुंचा.

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि विभिन्न कूटनीतिक प्रयासों के बाद अंतत: भारत को सना में विमान उतारने की अनुमति मिल गई और 120 यात्री क्षमता वाला पहला विमान वहां उतर गया. युद्ध प्रभावित देश से निकलने के लिए लगभग 2500 भारतीय नागरिक सना में इंतजार कर रहे हैं.

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प्रवक्ता ने कहा कि एयर इंडिया के विमान के जरिए गुरुवार को चार उड़ानें भरी जाएंगी जिनमें 500 से ज्यादा नागरिकों को वहां से निकाले जाने की उम्मीद है. इनको यमन के पड़ोसी देश जिबूती पहुंचने के बाद वायुसेना के विशेष विमानों से स्वदेश लाया जाएगा. भारतीय लोगों को युद्ध प्रभावित देश से निकालने के अभियानों की देखरेख के लिए विदेश राज्य मंत्री वी के सिंह जिबूती में मौजूद हैं.

इससे पहले एयर इंडिया ने भारतीयों को सना से निकालकर जिबोती तक लाने के लिए 30 मार्च को 180 सीटों वाले एयरबस ए320 विमान भेजे थे, लेकिन सबंधित अधिकारियों से अनुमति न दिए जाने के कारण ये विमान यमन के इस शहर तक जा नहीं पाए थे. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने बताया कि 35 भारतीय यमन से सउदी अरब आग गए हैं और इस समय गिजान में हैं. उन्होंने कहा कि भारतीय अधिकारी भारत लौटने में उनकी मदद कर रहे हैं. बीती रात, 300 से ज्यादा भारतीयों को यमन के पत्तन शहर अल हुदैदाह से सुरक्षित निकाला गया था. इसके साथ ही यमन से लाए गए भारतीयों की संख्या 800 से ऊपर पहुंच गई.

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अब तक, अधिकतर भारतीयों को नौसेना के पोत आईएनएस सुमित्रा के जरिए यमन से लाया गया है. मंगलवार रात को अदन से 350 भारतीयों को निकाला और बुधवार को अल हुदैदाह से 300 से ज्यादा भारतीय लाए गए.

यमन से जिबोती लाए गए भारतीयों को वायुसेना के दो सी-17 ग्लोबमास्टर्स के जरिए भारत वापस लाया जा रहा है. यह भारत सरकार द्वारा किया जा रहा चौथा बड़ा निकासी अभियान है. इससे पहले भारत सरकार यूक्रेन, इराक एवं लीबिया में ऐसे निकासी अभियान चला चुकी है. यमन में सउदी के नेतृत्व वाले गठबंधन एवं शिया विद्रोहियों के बीच भीषण युद्ध चल रहा है. शिया विद्रोही यमन के प्रमुख दक्षिणी शहर अदन तक पहुंच चुके हैं और राष्ट्रपति अबेद्राब्बो मंसूर हादी देश छोड़ चुके हैं.

-इनपुट भाषा

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